संयुक्त राष्ट्र के यमन कार्यालय ने रविवार (19 अक्तूबर) को बताया कि हौथी विद्रोही अब भी 20 कर्मचारियों को बंधक बनाए हुए हैं, जो शनिवार (18 अक्तूबर) को उनके कार्यालय में हुई छापा मार कार्रवाई के बाद हिरासत में लिए गए थे। यूएन के प्रवक्ता जीन आलम ने कहा,“5 राष्ट्रीय और 15 अंतरराष्ट्रीय कर्मचारी अब भी कार्यालय परिसर में हिरासत में हैं। हम सना में संबंधित अधिकारियों, सदस्य देशों और यमन सरकार के संपर्क में हैं ताकि इस गंभीर स्थिति का जल्द समाधान निकाला जा सके, सभी कर्मचारियों की रिहाई हो और हमारे परिसर पर पूर्ण नियंत्रण बहाल हो।”
रविवार देर रात एक यूएन अधिकारी ने AFP को बताया कि यूनिसेफ के प्रतिनिधि पीटर हॉकिंस भी बंधक हैं। हौथी सुरक्षा सूत्रों ने भी उनकी हिरासत की पुष्टि की।
हौथी विद्रोहियों ने पहले भी 31 अगस्त 2025 को सना में UN कार्यालयों पर छापा मारा था और 11 कर्मचारियों को हिरासत में लिया था। विद्रोहियों ने उन कर्मचारियों पर अमेरिका और इज़राइल के लिए जासूसी करने का आरोप लगाया था। UN महासचिव एंटोनियो गुटेरेस के प्रवक्ता स्टेफेन डुजारिक ने कहा कि यह आरोप खतरनाक और अस्वीकार्य हैं। उन्होंने कहा,“हम अपने 53 सहयोगियों की मनमानी हिरासत को समाप्त करने के लिए लगातार आह्वान जारी रखेंगे।”
हौथी नेता अब्देलमलेक अल-हुथी ने अपने टीवी संबोधन में दावा किया कि उनकी सेना ने सबसे खतरनाक जासूसी कोशिकाओं में से एक को तोड़ दिया है, जिसका संबंध विश्व खाद्य कार्यक्रम और UNICEF जैसी मानवीय संस्थाओं से था।हाल के महीनों में हौथी नियंत्रण वाले क्षेत्रों में UN कर्मियों को बंधक बनाने की घटनाएं बढ़ी हैं। सितंबर के मध्य में यमन के UN मानवीय समन्वयक को सना से आदेन स्थानांतरित किया गया था, जो अंतरराष्ट्रीय मान्यता प्राप्त सरकार की अंतरिम राजधानी है।
UN के अनुसार, पिछले दस वर्षों के गृहयुद्ध ने यमन को अरब प्रायद्वीप के सबसे गरीब देशों में से एक बना दिया है और यह दुनिया के सबसे गंभीर मानवीय संकटों में से एक बन गया है।
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