राज्य के कई इलाकों में बागी शिवसेना विधायकों के घरों व कार्यालयों पर हमले की घटनाओं को देखते हुए राज्य में राष्ट्रपति शासन को लेकर चर्चा शुरू हो गई। इस आशंका को इस लिए भी बल मिला है क्योंकि कांग्रेस नेताओं ने यह कह कर राष्ट्रपति शासन की आशंका को खारिज किया है कि राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति अच्छी है।
शनिवार को राजस्व मंत्री बालासाहेब थोरात के आवास पर वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं की बैठक हुई। बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत में थोरात ने कहा की राज्य में महा विकास आघाड़ी सरकार कायम है। फिलहाल संवैधानिक पेंच को लेकर कानूनी लड़ाई शुरू है।
मविआ सरकार स्थापना के वक्त जो टीम कार्यरत थी, वही टीम स्थिति पर बारीक नजर रखे हुए है। उन्होंने कहा की राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने कि कोई परिस्थिति नहीं दिखाई दे रही है।
महाराष्ट्र में यह प्रयोग सफल नहीं होगा। उन्होंने कहा की राज्य से बाहर गए मंत्रियों और विधायकों का क्या करना है, वह मुख्यमंत्री देख रहे हैं। पीडब्लूडी मंत्री अशोक चव्हाण ने कहा कि कोई किसी के नाम पर गुट तैयार कर ले पर उसका तब तक मतलब नहीं है।
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