पुणे के सदाशिव पेठ में एक युवती पर कोयता से हमला किया गया| लड़की पर हमला करने वाले आरोपी का नाम शांतनु जाधव है| वह पुलिस हिरासत में है| वह और लड़की कॉलेज के समय के दोस्त थे। उसने उसे प्रपोज किया, लेकिन लड़की ने उसका प्रपोजल ठुकरा दिया| इसके बाद उसने उससे बातचीत करना भी बंद कर दिया। इससे शांतनु क्रोधित हो गये। उसने उसे जान से मारने की धमकी दी| वह कॉलेज में जाकर लड़की को पीटता था। इससे दुखी होकर लड़की ने शांतनु के परिवार से शिकायत की। उसने उस पर हमला कर दिया|
मंगलवार को क्या हुआ: मंगलवार, 27 जून को शांतुन जाधव सदाशिव पेठ में पेरुगेट पुलिस स्टेशन के पास आया। उस समय मैं युवती को टोकते हुए उससे बात करने की इच्छा की, तुम बात क्यों नहीं करतीं? सदाशिव ने लड़की से पूछा| जब युवती ने बात करने से इनकार कर दिया तो उसने बैग में रखा कोयता निकाल लिया और हमला कर दिया|
उस वक्त पीड़िता आरोपियों से बचने के लिए इधर-उधर भाग रही थी| वह एक बेकरी में गई| बेकरी मालिक ने शटर बंद कर लिया। तभी लेखपाल के पास एक युवक ने बहादुरी से उसे बचा लिया। फिर उसे पेरुगेट पुलिस स्टेशन ले जाया गया। लेकिन थाने पर पुलिस नहीं थी|आरोप था कि बीस से पच्चीस मिनट तक पुलिस नहीं आई।
कमिश्नर ने की कार्रवाई: इस घटना के बाद पुलिस की हर तरफ आलोचना होने लगी| इसलिए पुलिस उपायुक्त संदीप सिंह गिल ने सख्त कार्रवाई की| पुलिस कांस्टेबल सुनील शांताराम साठे, पुलिस कांस्टेबल प्रशांत प्रकाश जगदाले और पुलिस कांस्टेबल सागर नामदेव राणे को निलंबित करने का आदेश दिया गया। इसमें दो बिट मार्शल और एक चौकी प्रवर्तक होता है। अब इन तीनों से पुणे कमिश्नर के जरिए पूछताछ की जाएगी| इन पुलिसकर्मियों पर काम में ढिलाई बरतने का आरोप है| इनके कारण समाज में पुलिस की छवि खराब हुई है|
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