पारले जी का दाम नहीं बढ़ा पर वजन कम होता गया

पारले जी का दाम नहीं बढ़ा पर वजन कम होता गया

जब हम बिस्किट के बारे में बात करते हैं तो हमे PARLE- G का नाम जुबान पर आ जाता है। बचपन से हम इससे खाते आ रहे है। भारत में कई सारी बिस्किट के ब्रांड्स है पर Parle-G हमेशा से लोकप्रिय रही है।

पर आपने कभी सोचा की Parle-G का दाम कभी बड़ा नहीं। कई सालों तक Parle-G  4रुपये  में बिकता था। और अब यह पैकेट 5रु में बिकने लगा है। पारले जी की शुरुआत साल 1929 में हुई थी। पारले जी ने पहली बार 1938 में पारले-ग्‍लूको नाम से बिस्किट का उत्पादन शुरू किया था। जब हम छोटे पैकेट की बात करते हैं, तो हमारे दिमाग में क्या आता है?

एक ऐसा पैकेट जो आसानी से हाथ में फिट बैठ जाए। पैकेट के भीतर मुट्ठी भर बिस्किट होते हैं। पारले जी ने इस तरीके को बखूबी समझा। इसलिए उसने कीमतों में इजाफा करने की बजाए लोगों के दिमाग में अपने छोटे पैकेट की धारणा को बरकरार रखा। फिर धीरे-धीरे इसके साइज कम करने शुरू कर दिया गया। समय के साथ छोटे पैकेट का साइज छोटा होते गया, लेकिन कीमतों में इजाफा नहीं हुआ। पहले Parle-G के छोटे पैकेट में 100 ग्राम बिस्किट आते थे, अब उसमे 45 % की कटौती हो गई है।

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