बांबे हाईकोर्ट ने सोमवार को सीबीआई को सामाजिक कार्यकर्ता नरेंद्र दाभोलकर की हत्या से संबंधित मामले की जांच से जुड़े निष्कर्ष पर निर्णय लेने के लिए चार सप्ताह तक समय दिया है। साल 2013 में पुणे में दाभोलकर की गोलीमार कर हत्या कर दी गई थी।
30 जनवरी 2023 को सीबीआई ने हाईकोर्ट को सूचित किया था कि मामले की जांच पूरी हो चुकी है। मामले से जुड़े जांच अधिकारी ने जांच से संबंधित अपनी क्लोजर रिपोर्ट सीबीआई के मुख्यालय में मंजूरी के लिए भेज दिया है। सोमवार को न्यायमूर्ति अजय गड़करी व न्यायमूर्ति पीडी नाइक की खंडपीठ के सामने दाभोलकर की बेटी मुक्ता की ओर से दायर की गई याचिका सुनवाई के लिए आयी।
इस दौरान सीबीआई की ओर से पैरवी कर रहे अधिवक्ता संदेश पाटिल ने कहा कि जांच अधिकारी की ओर से भेजी गई रिपोर्ट पर स्पष्ट जानकारी मिलने में थोड़ा समय लगेगा। लिहाजा सीबीआई को जांच अधिकारी की रिपोर्ट पर निर्णय लेने के लिए समय दिया जाए। इसके बाद खंडपीठ ने याचिका पर सुनवाई को स्थगित कर दिया और सीबीआई को जवाब देने के लिए चार सप्ताह तक समय दिया।
हाईकोर्ट ने साल 2014 में इस मामले की जांच सीबीआई को स्थनांतरित कर दी थी। कोर्ट ने जांच स्थनांतरित करने का निर्देश सामाजिक कार्यकर्ता केतन तिरोडकर की ओर से दायर की गई याचिका पर सुनवाई के बाद दिया था। इसके बाद दाभोलकर की बेटी ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। तब से हाईकोर्ट इस मामले की जांच की निगरानी कर रही है। सीबीआई ने अब तक इस मामले में पांच आरोपियों के खिलाफ आरोपपत्र दायर किया है।
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