NCRB की रिपोर्ट,बंगाल में बढ़े अपराध

NCRB की रिपोर्ट,बंगाल में बढ़े अपराध

He murdered his second wife and threw her in the drain, went to Bihar for his third Nikah, Mohammad Naseem is the father of 6 children!

कोलकाता। बंगाल में बीते तीन सालों के अंदर बच्चों के खिलाफ अपराध तेजी से बढ़े हैं। नेशनल क्राइम रिकॉर्ड्स ब्यूरो की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक अभी भी राज्य में इस तरह के अपराधों की कुल संख्या उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश से अभी भी कम है। NCRB ने मंगलवार को भारत में साल 2020 के अपराधों को लेकर रिपोर्ट जारी की। इस रिपोर्ट में बच्चों के खिलाफ अपराधों के मामले में मध्य प्रदेश सबसे अव्वल है, जहां 17, हजार 08 केस दर्ज किए। उत्तर प्रदेश और महाराष्ट्र जहां क्रमशः 15 हजार 271 और 14 हजार 371 मामले दर्ज किए गए। चौथे नंबर पर बंगाल है जहां, बच्चों के साथ अपराध के 10 हजार 248 मामले सामने आए।

रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि साल 2020 में बच्चों के खिलाफ सबसे ज्यादा अपराध पश्चिम बंगाल में बढ़े। यहां बच्चों के खिलाफ अपराधों में 63 फीसदी का उछाल आया। वहीं, तमिलनाडु में 44 फीसदी मामले बढ़े और इसके बाद जम्मू-कश्मीर में 28 फीसदी, राजस्थान में 27 फीसदी बढ़ोतरी हुई। झारखंड और ओडिशा में ऐसे मामले 21 फीसदी बढ़े। रिपोर्ट में यह भी खुलासा हुआ है कि बंगाल में साल 2018 में बच्चों के खिलाफ अपराध के 6286 मामले आए। साल 2019 में ये घटकर 6 हजार 191 रह गए और फिर 2020 में यह बढ़कर 10 हजार 248 तक पहुंच गए। साल 2011 की जनगणना के मुताबिक, पश्चिम बंगाल में बच्चों की आबादी करीब 3 करोड़ है। बच्चों के खिलाफ अपराध की दर राज्य में 34 फीसदी है, जो बाकी कई राज्यों की तुलना में कम है।

दिल्ली में बच्चों के खिलाफ अपराध की दर करीब 91 फीसदी है। एनसीआरबी के डेटा के मुताबिक साल 2020 में पश्चिम बंगाल के अंदर 69 बच्चों की हत्या की गई, वहीं 6 का बलात्कार कर के मारा गया। उत्तर प्रदेश में हालांकि, 289 बच्चों की हत्या की गई और मध्य प्रदेश-महाराष्ट्र में क्रमशः 151 और 170 बच्चों को मौत की नींद सुलाया गया। बच्चों के अपहरण के मामले में पश्चिम बंगाल दूसरे नंबर पर है। महाराष्ट्र में साल 2020 में जहां 7 हजार 392 बच्चों का अपहरण किया गया, वहीं पश्चिम बंगाल में यह आंकड़ा 7 हजार 79 था।

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