पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) के सबसे उत्तरी इलाके गिलगित बाल्टिस्तान में पिछले दिनों से पाकिस्तान के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं। प्रदर्शनकारियों की मांग है कि उन्हें भारत के केंद्र शासित राज्य लद्दाख में शामिल किया जाए। कहा जा रहा है कि इस इलाके में रहने वाले लोग बेरोजगारी और महंगाई से तंग आ गए हैं और भारत में आने के लिए प्रदर्शन कर रहे हैं। प्रदर्शनकारी ने पाकिस्तान पर भेदभाव का भी आरोप लगा रहे हैं। इतना ही नहीं इन इलाकों के लोगों का कहना है कि पाकिस्तान दशकों से केवल उनका शोषण करता रहा है।
Ppl in #GilgitBaltistan chant slogans for REUNIFICATION with #Ladakh & demand opening of #Kargil – #Skardu road. Ppl always resisted #Pakistani moves to make #POJK a province of #Pakistan, but #India has always accommodated Pakistan on #JammuAndKashmir ignoring public sentiments. pic.twitter.com/a5x66Qf1nx
— Prof. Sajjad Raja (@NEP_JKGBL) January 7, 2023
इन प्रदर्शनकारियों की कई वीडियो सोशल मीडिया पर देखे जा सकते हैं। जिसमें गिलगित बाल्टिस्तान के लोग भारी संख्या में सड़क पर उतरकर प्रदर्शन कर रहे हैं। प्रदर्शनकारियों की मांग है कि भारत के लद्दाख में उनके लोग रहे उन्हें भी उनके साथ रहने दिया जाए। प्रदर्शनकारियों ने कारगिल जिले में सकरदू कारगिल रोड को खोलने की मांग कर रहे हैं।
पाकिस्तान के खिलाफ जारी प्रदर्शन में लोगों की मांग है कि पाकिस्तान द्वारा उनकी जिन जमीनों को कब्जाया गया है उसे मुक्त किया जाए। इसके अलावा उनके इलाकों में प्राकृतिक संसाधनों का दोहन रोका जाए। बता दें कि पाकिस्तान सेना गिलगित बाल्टिस्तान के गरीब क्षेत्रों की जमीनों को जबरन कब्जा जमा रखा है। यह मुद्दा लम्बे समय से देखा जा रहा। यहां के लोगों का कहना है कि पीओके की जमीनों पर उनका हक़ है। जबकि पाकिस्तानी सरकार कहती रही है कि जिन जमीनों को किसी को नहीं दी गई है वह सरकार की है।
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