उत्तर प्रदेश के अमरोहा में सरकारी योजना का पैसा हड़पने के लिए गजब फर्जीवाड़ा पकड़ा गया। अमरोहा में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत सम्मेलन रखा गया था, जहां 335 जोड़ों की शादी कराने पहुंचे थे। हालांकि जब फर्जीवाड़ा पकड़ा गया तो 145 जोड़े वहां से भाग खड़े हुए। पुलिस ने मामले में एफआईआर दर्ज कर ली है।
अमरोहा में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना जब एक महिला दूसरी शादी करने पहुंची तो इस बात का खुलासा हुआ की उस महिला की 2022 में शादी हो चुकी थी। महिला का नाम आसमा बताया जा रहा है,जो पति नूर मोहम्मद से विवाद के चलते मायके जा बसी और बिना तलाक के सामूहिक विवाह समारोह में दूसरी शादी करने जा रही थी। दौरान यहीं इस महिला के ससुराल वाले पहुंच गए और उन्हींकी शिकायत पर वो पकड़ी भी गई। चौंकाने वाली बात तो यह थी की आसमा अपने रिश्ते के भाई से शादी कर रही थी। इसी घटनाक्रम के बाद जब जांच पड़ताल शुरू हुई तो पूरा फर्जीवाड़ा सामने आ गया।
बता दें की जयतौली निवासी आसमा ससुर शफीक ने सामूहिक विवाह सम्मेलन के दौरान वहां पहुंचकर मामले की शिकायत की। इसके बाद सीडीओ ने मामले को गंभीरता से लेते हुए गलत तरीके से शादी करने जा रही आसमा को पकड़कर पुलिस के हवाले किया।
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आसमा के पकड़े जाने पर सीडीओ ने जांच के अनुसार मामले में कारवाई के निर्देश दिए थे। आसमा के साथ उस युवक को भी पुलिस हिरासत में ले लिया गया जिससे उसकी शादी तय हुई थी। दौरान शादी करने के दूल्हा-दुल्हन के जोड़ों के कागजात भी तलाशे जाने की मांग हुई। दौरान मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत 335 जोड़ों का विवाह होना था, लेकिन कागज़ात का नाम उठते ही शादी से पहले ही 145 जोड़े वहां से भाग गए। माना जा रहा है कि पकड़े जाने के डर से सभी जोड़े भाग निकले। ऐसे में 190 जोड़ों की शादी कराई गई।