महाराष्ट्र की ठाकरे सरकार को सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा झटका दिया है। राज्य में कुछ समय से ओबीसी आरक्षण के मुद्दे को लेकर विवाद जारी है। इस संबंध में ठाकरे सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की थी। याचिका में ओबीसी का सही आंकड़ा उपलब्ध कराने के लिए केंद्र को निर्देशित करने की मांग की गई थी। इस संबंध में बुधवार को सुनवाई करते सुप्रीम कोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार की याचिका को ख़ारिज कर दी। इसकी वजह से राज्य सरकार को ओबीसी आरक्षण पर बड़ा झटका माना जा रहा है। राज्य सरकार ने जिस ओबीसी आंकड़े की मांग की थी उसे कोर्ट में केंद्र अनुपयोगी बताया।
महाराष्ट्र सरकार को आरक्षण को लागू करने के लिए ट्रिपल टेस्ट का अनुपालन नहीं किया था। कोर्ट ने कहा कि बार बार अनुरोध करने के बाद भी महाविकास अघाड़ी सरकार ने अभी तक सही आंकड़ा पेश नहीं किया। केंद्र ने कोर्ट को बताया कि 2011 का डेटा बहुत बेकार है। यह उपयोगी नहीं हो सकता है। फैसला सुनाते हुए, शीर्ष अदालत ने कहा कि राज्य को आरक्षण को लागू करने के लिए ट्रिपल टेस्ट पूरा करना चाहिए। लेकिन यह निर्देश नहीं दिया जा सकता है कि केंद्र को ओबीसी से जुड़े आंकड़ा साझा करना चाहिए। क्योंकि केंद्र के मुताबिक डेटा बेकार है।
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