सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को महाराष्ट्र विधानसभा के 12 बीजेपी विधायकों के अनिश्चितकालीन निलंबन को “असंवैधानिक और मनमाना” बताते हुए रद्द कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट का माना है कि विधायकों का निलंबन केवल चल रहे मानसून सत्र के लिए हो सकता था। लेकिन, कोर्ट ने इस निलंबन असंवैधानिक मानते हुए रद्द कर दिया।
बता दें कि पिछली सुनवाई के दौरान भी सुप्रीम कोर्ट ने इस लोकतंत्र के लिए खतरा बताते तर्कहीन कहा था। ज्ञात हो कि जुलाई 2021 में महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष भास्कर जाधव ने सदन में हंगामा करने के लिए 12 भाजपा विधायकों को एक साल के लिए निलंबित कर दिया था।
Supreme Court quashes one-year suspension from the Maharashtra Legislative Assembly of 12 BJP MLAs while terming it unconstitutional and arbitrary. MLAs were suspended for one year for allegedly misbehaving with the presiding officer. pic.twitter.com/LsXiT9MtNR
— ANI (@ANI) January 28, 2022
जिसमें विधायक आशीष शेलार, अभिमन्यु पवार, संजय कुटे, गिरीश महाजन, अतुल भातखळकर, हरीश पिंपले, राम सतपुते, पराग अलावनी, विजय कुमार रावल, नारायण कुचे और कीर्तिकुमार बांगड़िया,योगेश सागर का निलंबन किया गया था। उस समय स्पीकर जाधव ने आरोप लगाया था कि जब सदन स्थगित कर दिया गया था तो विपक्षी नेता उनके केबिन में गए और उनके साथ अनियंत्रित व्यवहार किया।
सुप्रीम कोर्ट के निर्णय पर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने ख़ुशी जाहिर की है। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का यह ऐतिहासिक निर्णय है।
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