यह आधिकारिक यात्रा इस्पात और धातु, ऊर्जा (पारंपरिक और नवीकरणीय), उन्नत विनिर्माण और बुनियादी ढांचे के विकास सहित अपने सबसे गतिशील क्षेत्रों में उच्च गुणवत्ता वाले प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) को आकर्षित करने की राज्य की व्यापक रणनीति का हिस्सा रहेगी।
भारत के सबसे संसाधन संपन्न राज्यों में से एक झारखंड, देश के औद्योगिक उत्पादन में महत्वपूर्ण योगदान देता है। इसमें टाटा स्टील, स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (सेल) और एनटीपीसी की जैसे कुछ बड़े नाम हैं।
राज्य में वेदांता रिसोर्सेज, टाटा पावर, लिंडे ग्रुप और अडानी पावर जैसी वैश्विक कंपनियों से भी बड़े निवेश देखने को मिले हैं, जिनमें स्टील उत्पादन, बिजली उत्पादन और गैस इंफ्रास्ट्रक्चर से जुड़ी परियोजनाएं शामिल हैं।
पिछले एक दशक में स्पेन और भारत ने अपने आर्थिक संबंधों को लगातार बढ़ाया है। आज, भारत में 280 से अधिक स्पेनिश कंपनियां काम करती हैं और द्विपक्षीय व्यापार 2024 में 8.78 बिलियन अमरीकी डॉलर तक पहुंच गया है, जो साल-दर-साल 6.3 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है। अक्षय ऊर्जा, धातुकर्म उद्योग, स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर और इलेक्ट्रिक मोबिलिटी जैसे क्षेत्र दोनों अर्थव्यवस्थाओं के बीच प्रमुख तालमेल का प्रतिनिधित्व करते हैं।
झारखंड प्रतिनिधिमंडल स्पेन एवं स्वीडन में अपने यात्रा के दौरान प्रमुख स्पेनिश औद्योगिक और ऊर्जा समूहों, निवेशकों और सार्वजनिक संस्थानों के साथ बातचीत करेगा। निर्धारित व्यापार मंच और B2B बैठकें स्पेनिश कंपनियों को झारखंड के महत्वाकांक्षी औद्योगिक रोडमैप, निवेशक सुविधा नीतियों और सार्वजनिक-निजी सहयोग के अवसरों की जानकारी देंगी। प्रतिनिधि मंडल स्वीडन में भी बैठक करेगा।
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