24 C
Mumbai
Monday, November 25, 2024
होमन्यूज़ अपडेट"रविकांत तुपकर भारत अघाड़ी के साथ...", सदाभाऊ खोत की सलाह!

“रविकांत तुपकर भारत अघाड़ी के साथ…”, सदाभाऊ खोत की सलाह!

रविकांत तुपकर ने भी तुरंत जवाब दिया| उन्होंने कहा, मेरा किसी से कोई विवाद नहीं है| मुझे नेतृत्व शैली और भूमिका पर आपत्ति है| अत: ऐसा प्रतीत हो रहा है कि स्वाभिमानी राजू शेट्टी बनाम रविकांत तुपकर का संघर्ष चल रहा है।

Google News Follow

Related

पिछले कुछ दिनों से हम स्वाभिमानी शेतकरी संगठन के नेता रविकांत तुपकर की नाराजगी सुन रहे हैं, लेकिन, यह पेल्या में एक तूफान है और यह जल्द ही खत्म हो जाएगा, यह बुलढाणा में दो अधिकारियों के बीच का विवाद है और इसे जल्द ही सुलझा लिया जाएगा, स्वाभिमानी शेतकरी संगठन के अध्यक्ष राजू शेट्टी ने कहा था। रविकांत तुपकर ने भी तुरंत जवाब दिया| उन्होंने कहा, मेरा किसी से कोई विवाद नहीं है| मुझे नेतृत्व शैली और भूमिका पर आपत्ति है|अत: ऐसा प्रतीत हो रहा है कि स्वाभिमानी राजू शेट्टी बनाम रविकांत तुपकर का संघर्ष चल रहा है।
इस बीच, तुपकर ने लगातार स्वाभिमानी शेखर संगठन के नेतृत्व की आलोचना की है। इसलिए संगठन ने आज अनुशासन समिति की बैठक बुलाई है|कहा जा रहा है कि यह कमेटी तुपकर के खिलाफ कार्रवाई कर सकती है या फिर तुपकर को संगठन से बाहर कर सकती है|इस तरह तुपकर के पुराने सहयोगी और रयत क्रांति संगठन के नेता सदाभाऊ खोत ने रविकांत तुपकर को सलाह दी है|सदाभाऊ खोत ने कहा, ”रविकांत तुपकर अपने फैसले लेने में सक्षम हैं| मैं उनसे कहूंगा, देश इस समय ध्रुवीकृत है। भाजपा और उसके सहयोगियों के खिलाफ गठबंधन बन रहा है| इस गठबंधन का नाम है भारत| हमारी लड़ाई भारत बनाम भारत है|अगर भारत को बचाना है, गांव-गांव को बचाना है तो रविकांत तुपकर को भारत के पक्ष में खड़ा नहीं होना चाहिए।
रविकांत तुपकर की तारीफ करते हुए सदाभाऊ खोत ने कहा, रविकांत छात्र आंदोलन के कार्यकर्ता हैं, वह शरद जोशी के विचारों से प्रेरित कार्यकर्ता हैं, जब मैं संगठन का प्रदेश अध्यक्ष बना तो मैंने इस युवा को किसान संगठन की युवा शाखा में देखा। वह एक प्रतिभाशाली युवक है और मैंने सोचा कि हमें उसे आगे लाना चाहिए।’ फिर मैंने रविकांत के साथ राज्य का दौरा किया| स्वाभिमानी किसान संघ से निकाले जाने के कुछ साल बाद रविकांत मेरे पास आए। लेकिन फिर वह वापस चला गया| उनका मानना था कि अगर हम सत्ता में रहेंगे तो गांव के किसानों से अलग हो जायेंगे| क्या हम सत्ता में रहते हुए लोगों के मुद्दों का समाधान कर सकते हैं? जब वह संगठन में वापस गया तो मुझे बुरा लगा।’ हालांकि, अब जिस तरह से इसे नष्ट किया जा रहा है, उसे देखकर दुख होता है। ऐसा कार्यकर्ता बनने में 20 से 40 साल लग जाते हैं| लेकिन इसे गंदा करने में 20 सेकंड का समय लगता है|
यह भी पढ़ें-

कोविड अस्पताल घोटाला:100 करोड़ का ठेका, किरीट सोमैया ने पेश किया लेखा-जोखा!

लेखक से अधिक

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें

The reCAPTCHA verification period has expired. Please reload the page.

हमें फॉलो करें

98,294फैंसलाइक करें
526फॉलोवरफॉलो करें
196,000सब्सक्राइबर्ससब्सक्राइब करें

अन्य लेटेस्ट खबरें