’31 दिसंबर से पहले लें विधायक की अयोग्यता पर फैसला’, चीफ जस्टिस ने नार्वेकर को जमकर सुनाये!
मुख्य न्यायाधीश डी. ने एकनाथ शिंदे और अन्य विधायकों की अयोग्यता पर 31 दिसंबर से पहले फैसला लेने का निर्देश दिया|डी.वाई.चंद्रचूड़ ने राहुल नार्वेकर को कड़वे शब्द कहे हैं|हमें परिणाम दिए हुए इतना समय हो गया है, आपने कुछ भी निर्णय क्यों नहीं लिया? चीफ जस्टिस ने राहुल नार्वेकर को जमकर सुनाया है|
Team News Danka
Updated: Mon 30th October 2023, 02:30 PM
मुख्य न्यायाधीश डी.वाई.चंद्रचूड़ ने एकनाथ शिंदे और अन्य विधायकों की अयोग्यता पर 31 दिसंबर से पहले फैसला लेने का निर्देश दिया| डी.वाई.चंद्रचूड़ ने राहुल नार्वेकर को कड़वे शब्द कहे हैं|हमें परिणाम दिए हुए इतना समय हो गया है, आपने कुछ भी निर्णय क्यों नहीं लिया? चीफ जस्टिस ने राहुल नार्वेकर को जमकर सुनाया है|राहुल नार्वेकर की ओर से तुषार मेहता ने बहस की|इस बार उन्होंने और समय मांगा,लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने समय बढ़ाने से इनकार कर दिया है|
शंभुराज देसाई ने क्या कहा?: मैंने नतीजा नहीं सुना है, लेकिन अध्यक्ष महोदय सही निर्णय लेंगे| शंभुराज देसाई ने कहा है कि मैं मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की प्रेस कॉन्फ्रेंस में था|
शिवसेना और एनसीपी दोनों के लिए दी गई समय सीमा: अजीत पवार और अन्य विधायकों पर 31 जनवरी तक फैसला होना चाहिए, जबकि एकनाथ शिंदे और उनके साथ अन्य विधायकों पर 31 दिसंबर तक फैसला होना चाहिए। ऐसे निर्देश अब डी. वाई चंद्रचूड़ ने दी है| साथ ही डी. वाई चंद्रचूड़ ने यह भी कहा कि ऐसा समय नहीं आना चाहिए जब हमें अयोग्यता पर फैसला करना पड़े| एकनाथ शिंदे के खिलाफ 34 याचिकाओं पर 31 दिसंबर तक फैसला| तुषार मेहता ने बहस करते हुए दिवाली की छुट्टियों का मुद्दा उठाया, शीतकालीन सत्र का मुद्दा भी उठाया| हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने ये डेडलाइन दी है| अजित पवार के लिए डेडलाइन 31 जनवरी तय की गई है|
जो भी फैसला लेना है अध्यक्ष राहुल नार्वेकर को देना है, लेकिन अब कोर्ट ने कहा है कि हम समय सीमा की योजना बना रहे हैं| इसलिए अब राहुल नार्वेकर को 31 दिसंबर से पहले फैसला लेना होगा| सुप्रीम कोर्ट ने आज की सुनवाई में विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर को 31 दिसंबर की डेडलाइन देते हुए एक तरह से सीधा अल्टीमेटम दे दिया है| इसलिए यदि विधानसभा अध्यक्ष सुप्रीम कोर्ट द्वारा दी गई समय सीमा का पालन करते हैं, अन्यथा सुप्रीम कोर्ट इस मामले में हस्तक्षेप कर सकता है और एक निश्चित तारीख या निश्चित समय सीमा तय कर सकता है। इस बीच, पिछले छह महीनों में शिवसेना विधायक अयोग्यता मामले में कोई विकास नहीं हुआ है। ठाकरे गुट लगातार आरोप लगा रहा है कि वह विधानसभा अध्यक्ष की ओर से विधायक अयोग्यता की सुनवाई में हेरफेर करने की कोशिश कर रहे हैं|
स्पीकर की मांग खारिज: स्पीकर की ओर से एक शेड्यूल पेश किया गया था जिसमें कहा गया था कि सुनवाई का फैसला फरवरी के अंत तक लिया जाएगा,लेकिन कोर्ट ने इसे खारिज कर दिया और शिवसेना विधायक अयोग्यता पर 31 दिसंबर तक फैसला लेने और एनसीपी विधायक अयोग्यता पर 31 जनवरी तक फैसला लेने का आदेश दिया|सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कोर्ट से कहा कि हम समय मांग रहे हैं क्योंकि यह दिवाली अवकाश सत्र है|चीफ जस्टिस ने कहा कि दिवाली की छुट्टियों से पहले आपके पास समय है|शिवसेना के कपिल सिब्बल ने विधानसभा अध्यक्ष के समय बढ़ाने का विरोध किया|