अल्पसंख्यक मंत्री किरण रिजिजू ने आज लोकसभा में वक्फ संशोधन विधेयक पेश किया| इसके बाद विपक्ष ने वक्फ बोर्ड संशोधन विधेयक का कड़ा विरोध किया है, जिसमें वक्फ बोर्ड के नियमों में बदलाव का प्रावधान है। के.सी. वेणुगोपाल ने इस संशोधन विधेयक पर आपत्ति जताई है| वेणुगोपाल ने कहा कि यह धर्म और संविधान द्वारा लोगों को दिए गए मौलिक अधिकारों पर सीधा हमला है| लोकसभा में इस बिल पर चर्चा शुरू हो गई है|
क्या है विधेयक का उद्देश्य?: विधेयक का उद्देश्य वक्फ बोर्ड की संपत्तियों, परिसंपत्तियों के पंजीकरण को एक केंद्रीय पोर्टल के माध्यम से सुविधाजनक बनाना है। यह बिल 18 फरवरी 2014 को राज्यसभा में पेश किया गया था|
क्या हैं वक्फ बोर्ड बिल के प्रावधान?: बिल का मकसद गरीब मुसलमानों को न्याय दिलाना और मुस्लिम महिलाओं को अधिकार दिलाना है। वक्फ बोर्ड देश में संपत्ति के मामले में रेल मंत्रालय और रक्षा मंत्रालय के बाद तीसरे स्थान पर है | रक्षा मंत्रालय के मुताबिक देश में 30 वक्फ बोर्ड हैं, जिनके पास 8 लाख एकड़ से ज्यादा संपत्ति है|
संशोधन विधेयक में केंद्रीय वक्फ परिषद और राज्य वक्फ बोर्ड को मिलाने का प्रस्ताव है। जो मुस्लिम महिलाओं और गैर-मुस्लिमों को भी प्रतिनिधित्व देगा। विधेयक के प्रावधानों के अनुसार, वक्फ बोर्ड को अपनी संपत्तियों से प्राप्त आय को दान के लिए खर्च करना होगा तय करें कि कौन सी संपत्ति वक्फ बोर्ड की है? अगर यह सरकारी जमीन है तो वक्फ बोर्ड का इस पर कोई अधिकार नहीं है| विधेयक में बोहरा और आगा खान मुसलमानों के लिए एक औकाफ बोर्ड बनाने का भी प्रस्ताव है|
यह भी पढ़ें-
पश्चिम बंगाल के पूर्व मुख्यमंत्री बुद्धदेव भट्टाचार्य का 80 वर्ष की आयु में निधन!