कुशीनगर। पीएम मोदी ने बुधवार को कुशीनगर एयरपोर्ट का उद्घाटन किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि पहले की सरकारें विकास पर भी केवल राजनीति करती थी। उन्होंने कहा कि 26 सालों से कुशीनगर एयरपोर्ट को लेकर राजनीति हो रही थी, जिससे आज खत्म कर दिया गया। आपको बता दें कि कुशीनगर एयरपोर्ट के पीछे की कहानी और राजनीति दावपेंच जानकार लोग हैरान हो जायेंगे। जिस तरह से इस एयरपोर्ट के लिए सूबे और केंद्र की सरकारों ने ‘राजनीतिक महाभारत’ का खेल खेला, वह केवल भारत में ही किया जा सकता है।
12 अन्य विकास परियोजनाओं की सौगात: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कुशीनगर को इंटरनेशनल एयरपोर्ट का उद्घाटन, राजकीय मेडिकल कॉलेज का शिलान्यास और 12 अन्य विकास परियोजनाओं की सौगात दी। इसी के साथ पूर्वांचल विकास की नई उड़ान भरने को तैयार हो गया है। इंटरनेशनल एयरपोर्ट से तथागत भगवान बुद्ध की महापरिनिर्वाण स्थली का ऐतिहासिक गौरव और समृद्ध होगा तो यहां बनने जा रहा मेडिकल कॉलेज 40 लाख लोगों के जीवन में संजीवनी सरीखा उपहार होगा। इसके साथ ही बाढ़ सुरक्षा, सड़क व ज्ञानालयों से जुड़ी परियोजनाएं जिले की खुशहाली बढ़ाएंगी। पीएम मोदी बोले – भारत विश्व भर के बौद्ध समाज की श्रद्धा, आस्था, प्रेरणा का केंद्र है. आज कुशीनगर अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे की ये सुविधा एक प्रकार से, उनकी श्रद्धा को अर्पित पुष्पांजलि है.
Hon’ble PM Sh. @narendramodi ji’s address at inauguration of Kushinagar airport.https://t.co/qiUmls7D65
— Kiren Rijiju (@KirenRijiju) October 20, 2021
राजनीति की भेंट चढ़ता रहा एयरपोर्ट: कुशीनगर के सामरिक महत्व को देखते हुए ब्रितानी हुकूमत ने 1945-46 में हवाई पट्टी निर्मित की। लेकिन इस पर राजनीति 90 के दशक में शुरू हुई, 5 सितम्बर, 1995 को तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने हवाई पट्टी के जिर्णोद्धार कार्य का शिलान्यास किया। अगले ही महीने कांग्रेस सरकार में तत्कालीन केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री गुलाम नबी आजाद ने 10 अक्टूबर, 1995 को टर्मिनल का शिलान्यास किया। टर्मिनल बिल्डिंग तीन साल में बन कर तैयार भी हो गई,दो रडार लगे। साल 2008 में तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने कुशीनगर में इंटरनेशनल एयरपोर्ट का वादा किया और मार्च 2010 को जमीन अधिग्रहण का अध्यादेश जारी किया, लेकिन योजना सिरे नहीं चढ़ी। 2013 में सपा सरकार हवाई अड्डा के निर्माण के लिए निविदा आमंत्रित की, लेकिन सूबे की कानून व्यवस्था को कोई आगे नहीं आया। 2014 में वर्ष सपा सरकार ने 163 हेक्टेयर जमीन का अधिग्रहण किया। मई, 2015 में जमीन एयरपोर्ट अथारिटी ऑफ इंडिया को दी गई।
मुख्यमंत्री योगी ने ऐसे जीता ‘महाभारत’: साल 2017 में पूर्व बहुमत से सूबे में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में आई सरकार ने कुशीनगर इंटरनेशनल हवाई अड्डा के निर्माण में गहरी रुचि दिखाई। केंद्र व प्रदेश सरकार के बीच कई दौर की बैठकों के बाद ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट के लिए 5 मार्च 2019 को उत्तर प्रदेश सरकार और एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया के बीच एमओयू हस्ताक्षरित हुआ। 10 अक्टूबर 2019 को प्रदेश सरकार ने इस एयरपोर्ट का एयरपोर्ट अथॉरिटी को हैंडओवर किया। 24 जून, 2020 को केंद्रीय कैबिनेट ने इसे अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट घोषित कर 22 फरवरी, 2021 को डीजीसीए लाइसेंस भी दे दिया।
बता दें कि पीएम मोदी ने इस दौरान गंडक नदी पर बाढ़ सुरक्षा के लिए आठ नए योजनाओं की शुरुआत की, इसके अलावा स्वदेश दर्शन योजना के तहत बौद्ध सर्किट, पर्यटन विकास , राजकीय महाविद्यालय निर्माण के साथ कई परियोजनाओं का शुभारंभ किया।