देश की सबसे समृद्धशाली महानगरपालिका मानी जाने वाली मुंबई मनपा यानी बीएमसी में 30 सालों से सत्तारूढ़ शिवसेना इसे कर्ज के गर्त में धकेलना चाहती है। गुरुवार को पेश बीएमसी के बजट को चुनावी बजट बताते हुए मुंबई भाजपा के प्रवक्ता अजय सिंह ने कहा कि बीएमसी बजट देख कर ऐसा लग रहा है कि सत्तारूढ़ शिवसेना कर्ज लेकर घी पीने में विश्वास करती है। पिछले साल की तुलना में इस बार बीएमसी की बजट 17.70 प्रतिशत अधिक है पर इसके लिए कर्ज का सहारा लिया गया है।
देश की सबसे बड़ी महानगरपालिका को इस लिए कर्ज का सहारा लेना पड़ रहा क्योंकि पूरी बीएमसी भ्रष्टाचार में आकंठ डूबी हुई है। समुद्र के खारे पानी को मीठा करने की घोषणा सालों पुरानी है। बीएमसी कई वर्षों से यह ऐलान कर रही है पर इस दिशा में अभी तक कुछ नहीं हो सका है। दूसरी तरफ बीएमसी ने जरुरी सुविधाओं के इस्तेमाल के लिए शुल्क भी वसूलने का फैसला किया है।
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