पिछले दो महीने से राज्य के राजनीतिक गलियारों में एनसीपी में फूट की चर्चा हो रही है| मुंबई में भारत अघाड़ी की बैठक भी चर्चा का विषय बन गई है| हालांकि, वहीं प्रहार संगठन के विधायक बच्चू कडू का भारत रत्न मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर को सीधे कानूनी नोटिस भेजने का ऐलान इस वक्त चर्चा में है| बच्चू कडू ने अपनी मांग को लेकर आक्रामक रुख अपना लिया है और अब उन्होंने सीधे तौर पर चेतावनी दी है कि सचिन तेंदुलकर को भारत रत्न अवॉर्ड लौटा देना चाहिए, नहीं तो कड़ा विरोध होगा|
वास्तव में क्या हुआ?: दो दिन पहले बच्चू कडू ने मीडिया के सामने घोषणा की थी कि वह सचिन तेंदुलकर को कानूनी नोटिस भेजेंगे। बच्चू कडू ने सचिन तेंदुलकर के ऑनलाइन गेमिंग को बढ़ावा देने पर आपत्ति जताई थी| “भारत रत्न धारक को क्या विज्ञापन करना चाहिए या क्या नहीं करना चाहिए, इस पर कुछ आचार संहिताएं हैं। इसलिए, अगर युवाओं को फिर से केवल पैसे के लिए विज्ञापन देकर इस ऑनलाइन गेमिंग का शिकार बनाया जा रहा है, तो हम इसका विरोध करेंगे”, बच्चू कडू ने कड़वाहट से कहा था। अब उन्होंने सचिन को भारत रत्न लौटाने की भूमिका का प्रस्ताव दिया है|
‘सचिन तेंदुलकर को नोटिस भेजने की पूरी तैयारी कर ली गई है। हम उनके खिलाफ बड़ा आंदोलन करेंगे| एक भारत रत्न व्यक्ति ऑनलाइन गेमिंग को कैसे बढ़ावा दे सकता है?” बच्चू कडू ने कटुतापूर्वक यही कहा|
‘सचिन तेंदुलकर का सम्मान, लेकिन…’ : इस बीच बच्चू ने तल्ख लहजे में कहा कि सचिन तेंदुलकर 300 करोड़ लेकर विज्ञापन कर रहे हैं। “हमारे मन में सचिन तेंदुलकर के लिए सम्मान है। लेकिन उन्हें भारत रत्न मिल चुका है| यह बहुत बुरा है कि वे ऑनलाइन गेमिंग का विज्ञापन करते हैं। जब कोई बड़ा व्यक्ति जुए जैसी बुरी चीज़ को बढ़ावा दे रहा है और यह हमारे युवाओं को प्रभावित कर रहा है, घरों को नष्ट कर रहा है, तो यह अनुचित है”, बच्चू कडू ने कड़वाहट से कहा।
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