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Monday, November 25, 2024
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हिंद महासागर में भारत की रणनीति: चीन- मालदीव को एक और झटका

यह विकास हिंद महासागर में चीन की बढ़ती उपस्थिति के संदर्भ में महत्वपूर्ण है। चीन इस क्षेत्र में अपनी नौसैनिक और वाणिज्यिक उपस्थिति बढ़ाने की कोशिश कर रहा है। भारत, एगालेगा में इस हवाई पट्टी और घाट का उपयोग चीनी गतिविधियों की निगरानी के लिए रणनीतिक संपत्ति के रूप में कर सकता है।

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-प्रशांत कारुलकर

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रविंद जगन्नाथ ने संयुक्त रूप से मॉरीशस के एक आश्रित द्वीप एगालेगा में भारत द्वारा निर्मित एक हवाई पट्टी और एक घाट (जेट्टी) का उद्घाटन किया। यह द्वीप पोर्ट लुइस से 1,100 किमी उत्तर में और माले के 2,500 किमी दक्षिण-पश्चिम में स्थित है।

इस परियोजना के उद्घाटन को हिंद महासागर क्षेत्र में भारत की बढ़ती रणनीतिक पहुंच के रूप में देखा जा रहा है। नई हवाई पट्टी और घाट मॉरीशस और एगालेगा के बीच बेहतर संपर्क की सुविधा प्रदान करेंगे तथा इसके सामाजिक-आर्थिक विकास को भी बढ़ावा मिलेगा।

विशेषज्ञों का मानना है कि यह विकास हिंद महासागर में चीन की बढ़ती उपस्थिति के संदर्भ में महत्वपूर्ण है। चीन इस क्षेत्र में अपनी नौसैनिक और वाणिज्यिक उपस्थिति बढ़ाने की कोशिश कर रहा है। भारत, एगालेगा में इस हवाई पट्टी और घाट का उपयोग चीनी गतिविधियों की निगरानी के लिए रणनीतिक संपत्ति के रूप में कर सकता है।

हवाई पट्टी का निर्माण मॉरीशस और मालदीव के बीच बढ़ते संबंधों के संदर्भ में भी महत्वपूर्ण है। भारत ने मालदीव में भी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं का समर्थन किया है। भारत, मॉरीशस और मालदीव हिंद महासागर क्षेत्र में सुरक्षा सहयोग बढ़ाने के लिए मिलकर काम कर रहे हैं।

हिंद महासागर क्षेत्र में भारत के लिए मॉरीशस का रणनीतिक महत्व कई कारणों से है। सबसे पहले, मॉरीशस भारत और अफ्रीकी महाद्वीप के बीच एक महत्वपूर्ण समुद्री गलियारे पर स्थित है। यह भारत को पूर्वी अफ्रीका के देशों के साथ संबंध विकसित करने के लिए एक रणनीति आधार प्रदान करता है, और इसके व्यापार को बढ़ावा देने में भी मदद करता है। इसके अतिरिक्त, मॉरीशस हिंद महासागर में एक महत्वपूर्ण द्वीप राष्ट्र है और भारत के लिए समुद्री सुरक्षा के दृष्टिकोण से काफी अहमियत रखता है।

मॉरीशस के साथ भारत के मजबूत संबंध हैं जो एक साझा सांस्कृतिक तथा ऐतिहासिक विरासत पर आधारित हैं। भारत और मॉरीशस दोनों बहुजातीय लोकतांत्रिक देश हैं और वैश्विक मामलों पर समान विचार रखते हैं। भारत अफ्रीका में मॉरीशस को एक महत्वपूर्ण भागीदार के रूप में देखता है, और दोनों देशों के बीच आर्थिक तथा सुरक्षा सहयोग बढ़ रहा है। मॉरीशस में नया हवाई अड्डा तथा अन्य बुनियादी ढांचा परियोजनाएं भारत को इस महत्वपूर्ण क्षेत्र में चीनी प्रभाव का मुकाबला करने के लिए एक महत्वपूर्ण रणनीतिक लाभ प्रदान कर सकती हैं।

एगालेगा में भारत द्वारा निर्मित हवाई पट्टी और घाट हिंद महासागर क्षेत्र में भू-राजनीतिक समीकरणों को महत्वपूर्ण रूप से प्रभावित कर सकते हैं। इस विकास से इस क्षेत्र में भारत की स्थिति मजबूत होने की संभावना है, जो इस क्षेत्र में शक्ति संतुलन को भी प्रभावित करेगा।

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