मलेशिया के पीएम अनवर इब्राहिम भारत दौरे पर हैं| पीएम इब्राहिम यह उनका पहला दौरा है|इस दौरान नयी दिल्ली में पीएम मोदी के साथ मलेशियाई पीएम के साथ द्विपक्षीय वार्ता हुई है|इसके साथ ही दोनों राष्ट्रों के बीच कई महत्वपूर्ण मुद्दों को लेकर समझौते का आदान-प्रदान भी किया गया|
बता दें कि मलेशिया के पीएम के रूप में यह उनकी पहली भारत यात्रा थी। हवाई अड्डे पर केंद्रीय राज्य मंत्री वी सोमन्ना ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया। उन्होंने पीएम मोदी से मुलाकात के बाद दिल्ली के राजघाट पर पुष्पांजलि अर्पित करते हुए महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि भी दी। इब्राहिम ने राजघाट की आगंतुक पुस्तिका पर हस्ताक्षर भी किए।
दिल्ली स्थित हैदराबाद हाउस में अपने मलेशियाई समकक्ष के साथ संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में पीएम मोदी ने कहा, कि “पीएम बनने के बाद दातो सेरी अनवर बिन इब्राहिम की यह पहली यात्रा है। भारत और मलेशिया साझेदारी का एक दशक पूरा कर रहे हैं और पिछले दो वर्षों में पीएम अनवर इब्राहिम के सहयोग से हमारी साझेदारी को नई गति और ऊर्जा मिली है।”
पीएम मोदी को अपना भाई बताते हुए मलेशिया के पीएम अनवर इब्राहिम ने कहा कि ऐसे कई क्षेत्र हैं, जिनमें मलेशिया और भारत को आगे और खोज करने की आवश्यकता है। भारत को एक महत्वपूर्ण राष्ट्र बताते हुए, मलेशिया के पीएम ने कहा कि दोनों देश संवेदनशील या विपरीत सभी मुद्दों पर सच्चे भाइयों की तरह चर्चा करते हैं, क्योंकि यही दोस्ती का सही अर्थ है।
“पीएम नरेंद्र मोदी मेरे भाई हैं। जब मैं पीएम नहीं था, तब भी वे बहुत दयालु थे| हम आगे व्यापक रणनीतिक साझेदारी को बढ़ाने पर सहमत हुए हैं| ” मलेशिया के पीएम ने आज पीएम मोदी के साथ एक संयुक्त प्रेस बयान में कहा। भारत और मलेशिया ने संबंधों को एक व्यापक रणनीतिक साझेदारी तक बढ़ा दिया है।
उन्होंने कहा भारत एक महत्वपूर्ण और महान राष्ट्र है, जिसका इतिहास, संस्कृति और सभ्यता बहुत अच्छी है। उन्होंने आगे कहा कि मलेशिया ने बहुत से नए कार्यक्रम शुरू किए हैं, और उन्होंने कहा कि वे मलेशिया में सहयोग के लिए भारतीय कंपनियों को आमंत्रित करते हैं।
इब्राहिम ने कहा, “हमें उम्मीद है कि मलेशिया की कंपनियों के साथ भारतीय कंपनियां ऊर्जा संक्रमण, डिजिटलीकरण और खाद्य सुरक्षा जैसे नए चुनौतीपूर्ण क्षेत्रों सहित सभी क्षेत्रों में आगे सहयोग करेंगी। हमने सेमीकंडक्टर क्षेत्र में अपने अनुभव और विशेषज्ञता दोनों का उपयोग करने की आवश्यकता पर जोर दिया, जिसे हम दक्षिण पूर्व एशिया में एक केंद्र के रूप में ठोस कदम हैं|”
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