पुणे में एक व्यक्ति द्वारा पोर्शे कार चलाकर दो लोगों को टक्कर मारने की घटना पर महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेन्द्र फड़णवीस की पत्नी अमृता फड़णवीस ने प्रतिक्रिया दी है।अमृता ने इस घटना को अंजाम देने वाले किशोर आरोपी को जमानत देने पर बाल न्याय बोर्ड से भी सवाल उठाए हैं।एक सोशल मीडिया पोस्ट में अमृता ने कहा,”मेरी संवेदनाएं अनीश कुर्दिया और अश्विनी कोस्टा के परिवारों के साथ हैं।आरोपियों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए|’ किशोर न्याय बोर्ड को शर्म आनी चाहिए|
क्या है मामला?: हिट एंड रन की यह घटना 19 मई को हुई थी। रियल एस्टेट डेवलपर विशाल अग्रवाल के 17 वर्षीय बेटे ने पुणे के कल्याणीनगर इलाके में अपनी स्पोर्ट्स कार पोर्श से दो दोपहिया इंजीनियरों को कुचल दिया, जिससे दोनों की मौत हो गई। घटना के 14 घंटे बाद नाबालिग आरोपी को कुछ शर्तों के साथ कोर्ट से जमानत मिल गई|
अदालत ने उन्हें 15 दिनों तक ट्रैफिक पुलिस के साथ काम करने और सड़क दुर्घटनाओं के प्रभाव और समाधान पर 300 शब्दों का निबंध लिखने का निर्देश दिया। हालांकि, पुलिस जांच में पता चला कि आरोपी शराब के नशे में था और तेज रफ्तार से गाड़ी चला रहा था|
नाबालिगों पर वयस्कों की तरह मुकदमा चलाने की मांग: इस मामले में पुणे पुलिस कमिश्नर अमितेश कुमार ने कहा कि किशोर आरोपियों पर वयस्कों की तरह मुकदमा चलाया जाना चाहिए। पुलिस ने इसके लिए हाईकोर्ट से अनुमति मांगी है। पुलिस कमिश्नर का यह बयान आरोपी नाबालिग को जमानत दिए जाने पर नाराजगी की पृष्ठभूमि में आया है|उन्होंने बताया कि आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 304 (गैर इरादतन हत्या), 304ए (लापरवाही से मौत) और मोटर वाहन अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया है|
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने दिए सख्त कार्रवाई के निर्देश महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और गृह मंत्री देवेंद्र फड़णवीस ने इस मामले में पुलिस को सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं| यह पूछे जाने पर कि इस मामले में पुलिस पर किस तरह का दबाव है, पुणे पुलिस कमिश्नर अमितेश कुमार ने कहा कि पुलिस शुरू से ही कानून के मुताबिक काम कर रही है| पुलिस पर कोई दबाव नहीं है|
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