देहरादून में फर्जी पहचान के सहारे अवैध रूप से रह रहे एक बांग्लादेशी नागरिक और उसके साथ पत्नी के रूप में रहने वाली भारतीय महिला को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (SSP) अजय सिंह के अनुसार, पकड़ा गया व्यक्ति ममुन हसन (28) है, जो अपनी पहचान सचिन चौहान बताकर शहर के एक क्लब में बाउंसर के रूप में काम कर रहा था। पुलिस के मुताबिक, ममुन को फर्जी आधार, पैन कार्ड और अन्य दस्तावेज उपलब्ध कराने में उसकी भारतीय साथी रीना चौहान ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
गुरुवार(20 नवंबर) को नेहरू कॉलोनी क्षेत्र में एक संदिग्ध दंपती के बारे में सूचना मिलने पर पुलिस ने दोनों को हिरासत में लिया। पूछताछ के दौरान ममुन ने बताया कि वह बांग्लादेश के मेहरपुर जिले का निवासी है और वर्षों से भारत में गलत पहचान के साथ रह रहा था। वहीं रीना ने स्वीकार किया कि वह ममुन के साथ किराये के मकानों में रहती रही और अपने परिचितों की मदद से उसके लिए फर्जी पहचान पत्र तैयार करवाए। ये दस्तावेज रीना के पूर्व पति सचिन चौहान के नाम पर बनाए गए थे, जिससे ममुन आसानी से स्थानीय पहचान बनाकर काम कर सके।
पुलिस ने दोनों के पास से कई फर्जी पहचान पत्र और प्रमाणपत्र बरामद किए हैं। ममुन और रीना के खिलाफ IPC की धारा 420 (धोखाधड़ी), 467, 468, 471 (जालसाजी से संबंधित धाराएँ), 120बी (षड्यंत्र), पासपोर्ट अधिनियम 1920 की धारा 3 और विदेशी अधिनियम की धारा 14 के तहत मामला दर्ज किया गया है। पुलिस उन लोगों की भी पहचान कर रही है जिन्होंने फर्जी दस्तावेज तैयार कराने में उनकी मदद की। एसएसपी ने कहा कि दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
जांच में यह भी सामने आया कि दोनों की मुलाकात फेसबुक के जरिए हुई थी। इसके बाद ममुन 2019 में टूरिस्ट वीज़ा पर भारत आया और दो महीने तक रीना के साथ देहरादून में रहा। वह 2021 और 2022 में भी दो बार टूरिस्ट वीज़ा पर भारत आया। 2022 में उसने रीना को अवैध रूप से बांग्लादेश ले जाकर कथित रूप से शादी की और फिर दोनों ने मिलकर अवैध तरीके से भारत में प्रवेश किया। इसके बाद वे देहरादून के अलग-अलग इलाकों में पति-पत्नी बनकर किराये पर रहने लगे। रीना ने स्वीकार किया कि भारत लौटने के बाद उसने ममुन के लिए अपने पूर्व पति के नाम से फर्जी पहचान पत्र तैयार करवाया, जिसके बाद वह उसी पहचान पर क्लब में नौकरी करने लगा।
एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि ऑपरेशन कालनेमी के तहत जो राज्य में फर्जी पहचान पर रहने वालों की खोज के लिए चलाया जा रहा है, देहरादून ज़िले में अब तक 16 अवैध बांग्लादेशी नागरिकों पर कार्रवाई की गई है। इनमें से नौ को देश से निष्कासित किया जा चुका है, जबकि सात के खिलाफ मुकदमे दर्ज कर उन्हें जेल भेजा गया है।
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