गत एक सप्ताह में यह आंकड़ा तेजी से बढ़ा है। इसमें सर्वाधिक 467 केस गौतम बुद्ध नगर में हैं। स्वास्थ्य विभाग और चिकित्सा शिक्षा विभाग ने भी नियमित निगरानी शुरू कर दी गई है। हालांकि कोरोना संक्रमितों को फिलहाल अस्पताल की जरूरत नहीं पड़ रही।संक्रमित होने पर लोग होम आइसोलेशन में रह रहे हैं। मेडिकल कॉलेजों में एक 30 बेड का डेडीकेटेड कोविड वार्ड तैयार रखने के निर्देश दिए गए हैं। इस वार्ड में यदि 15 मरीज भर्ती हो जाएं तो 30 बेड का दूसरा वार्ड डेडीकेटेड कर दिया जाएगा।
मेडिकल कॉलेजों में स्टाफ का प्रशिक्षण पहले ही कराया जा चुका है। सभी जगह ऑक्सीजन की पर्याप्त उपलब्धता भी है। प्रदेश में करीब 540 ऑक्सीजन प्लांट चालू हो चुके हैं। मेडिकल कॉलेजों और अन्य सरकारी अस्पतालों में पीकू वार्ड भी बनाए गए हैं। पीकू बेड्स की संख्या बढ़कर अब 6700 हो चुकी है। चिकित्सा शिक्षा के महानिदेशक डा. एनसी प्रजापित ने कहा, ‘कोरोना केस जरूर बढ़े हैं मगर अस्पताल की जरूरत लोगों को नहीं पड़ रही। फिर भी सभी मेडिकल कॉलेजों में हर परिस्थिति के लिए पूरी तैयारी है।’
चिकित्सा एवं स्वास्थ्य महानिदेशक डा. वेदव्रत सिंह ने कहा, ‘कोरोना को लेकर कोई पैनिक स्थिति नहीं है। ऐसे में नॉन कोविड मरीजों के इलाज को प्रभावित नहीं किया जा रहा। यदि जरूरत पड़ी तो 10 फीसदी बेड कोविड मरीजों के लिए डेडीकेटेड रहेंगे।’
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