भारतीय थल सेना के अध्यक्ष जनरल उपेंद्र द्विवेदी रविवार को अपने परिवार के साथ केदारनाथ धाम पहुंचे। इस अवसर पर उन्होंने मंदिर में विशेष पूजा-अर्चना की और धाम की दिव्यता को निहारा। मंदिर परिसर में तीर्थ पुरोहित समाज और बदरी-केदार मंदिर समिति की ओर से उनका गरिमामय स्वागत किया गया।
गौरतलब है कि इस वर्ष 2 मई को केदारनाथ धाम के कपाट खुलने के बाद से श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ रही है। अब तक लगभग 8 लाख 85 हजार से अधिक भक्त बाबा केदार के दर्शन कर चुके हैं।
इन दिनों केदारनाथ में आम श्रद्धालुओं के साथ-साथ विशिष्ट अतिथियों की भी नियमित उपस्थिति देखी जा रही है। इसी क्रम में जनरल द्विवेदी ने भी अपने परिवार संग बाबा केदार के दर्शन किए। लगभग आधे घंटे तक उन्होंने विधिपूर्वक पूजा-अर्चना की।
धाम की दिव्यता से अभिभूत: पूजन के उपरांत जनरल द्विवेदी ने केदारनाथ धाम की भव्यता को नजदीक से निहारा और कहा कि यह स्थान अत्यंत दिव्य और अद्भुत है। उन्होंने बताया कि यहां आकर मन को विशेष शांति की अनुभूति होती है।
धाम में रोजाना बड़ी संख्या में वीआईपी भी पहुंच रहे हैं। हाल ही में, 6 जून को केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी और 2 जून को दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने भी केदारनाथ के दर्शन किए थे।
इससे पहले मई माह में जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने चित्रकूट स्थित तुलसीपीठ में जगद्गुरु रामभद्राचार्य से दीक्षा ली थी। इस अवसर पर गुरु रामभद्राचार्य ने गुरु दक्षिणा के रूप में पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) को भारत में वापस लाने की कामना की थी। दीक्षा के दौरान सेना प्रमुख ने अपनी पत्नी के साथ कांच मंदिर में भी विधिवत पूजन किया था।
जगदगुरु ने थल सेना अध्यक्ष से पाक अधिकृत कश्मीर की मांगी गुरु दक्षिणा

भारतीय थल सेना अध्यक्ष उपेंद्र द्विवेदी ने बुधवार को जगद्गुरु रामभद्राचार्य से दीक्षा ली। जगद्गुरु ने उनसे गुरु दक्षिणा में पीओके मांगा है। थल सेना प्रमुख ने कहा है निश्चित रूप से यह दक्षिणा मिलेगी।
तुलसी पीठ आवास में बुधवार की देर शाम जगद्गुरु ने पत्रकारों से कहा कि सेना प्रमुख का सम्मान करने में उन्हें बहुत गौरव की अनुभूति हुई। कहा कि पाकिस्तान अगर आगे कोई आतंकवादी वारदात को अंजाम देता है तो वह नेस्तनाबूद हो जाएगा। यह भी बताया कि थल सेना अध्यक्ष ने उनसे उसी मंत्र की दीक्षा ली, जो मंत्र सीताजी ने हनुमानजी को लंका विजय के लिए दिया था।
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