केंद्र सरकार के दूरसंचार विभाग (DoT) ने सोमवार को ‘5G इनोवेशन हैकाथॉन 2025’ की घोषणा की, जिसका उद्देश्य उभरते इनोवेटर्स, स्टार्टअप्स और प्रोफेशनल्स को 5G तकनीक पर आधारित समाधान विकसित करने के लिए प्रोत्साहित करना है। छह महीने की इस प्रतियोगिता के तहत मेंटरशिप, फंडिंग और 100 से अधिक 5G उपयोग मामलों की लैब्स तक पहुंच प्रदान की जाएगी।
सरकार की इस पहल के तहत, 5G तकनीक के व्यावहारिक उपयोगों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा, जिससे सामाजिक और औद्योगिक चुनौतियों का समाधान निकालने में मदद मिलेगी। कार्यक्रम में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले प्रतिभागियों को आकर्षक पुरस्कारों से सम्मानित किया जाएगा।
इस हैकाथॉन में शीर्ष प्रतिभागियों के लिए नकद पुरस्कार की घोषणा की गई है, जिसमें प्रथम स्थान प्राप्त करने वाली टीम को ₹5,00,000, दूसरे स्थान पर आने वाली टीम को ₹3,00,000 और तीसरे स्थान के विजेता को ₹1,50,000 का इनाम दिया जाएगा। इसके अलावा, ‘सर्वश्रेष्ठ विचार’ और ‘सबसे इनोवेटिव प्रोटोटाइप’ के लिए ₹50,000-₹50,000 के पुरस्कार भी तय किए गए हैं।
इसके साथ ही, 10 प्रयोगशालाओं को ‘सर्वश्रेष्ठ 5G उपयोग केस’ के लिए प्रमाण पत्र दिए जाएंगे, जबकि उभरते संस्थानों में से एक को ‘सर्वश्रेष्ठ विचार’ के लिए सम्मानित किया जाएगा। दूरसंचार विभाग इस हैकाथॉन के माध्यम से विभिन्न प्रमुख क्षेत्रों में नवाचार को बढ़ावा देने की योजना बना रहा है। प्रतियोगिता में शामिल होने वाले इनोवेटर्स को एआई-आधारित नेटवर्क मेंटेनेंस, IoT-आधारित समाधान, 5G ब्रॉडकास्टिंग, स्मार्ट हेल्थकेयर, औद्योगिक ऑटोमेशन, कृषि, गैर-स्थलीय नेटवर्क (NTN), डायरेक्ट-टू-मोबाइल (D2M) और क्वांटम कम्युनिकेशन जैसे विषयों पर अपने इनोवेटिव प्रोजेक्ट्स प्रस्तुत करने होंगे।
सरकार के अनुसार, इस प्रतियोगिता का उद्देश्य प्रतिभागियों को 5G की क्षमताओं का उपयोग करके वास्तविक जीवन की चुनौतियों का समाधान निकालने के लिए प्रेरित करना है। प्रतियोगिता के तहत नेटवर्क स्लाइसिंग, क्वालिटी ऑफ सर्विस (QoS) और अन्य 5G क्षमताओं के इस्तेमाल पर जोर दिया जाएगा।
हैकाथॉन को चरणबद्ध तरीके से आयोजित किया जाएगा, जिसमें शुरुआत में प्रत्येक संस्थान अधिकतम पांच प्रस्ताव प्रस्तुत कर सकता है। इसके बाद, दूरसंचार विभाग की एक टीम इन प्रस्तावों की स्क्रीनिंग करेगी और क्षेत्रीय स्तर पर मूल्यांकन समितियां सर्वश्रेष्ठ प्रविष्टियों का चयन करेंगी।
प्रतियोगिता का अंतिम मूल्यांकन और प्रदर्शन चरण सितंबर 2025 के अंत में आयोजित किया जाएगा, जिसमें चयनित टीमों को अपने प्रोटोटाइप को तकनीकी विशेषज्ञों के सामने प्रस्तुत करना होगा। विजेताओं की घोषणा अक्टूबर 2025 में की जाएगी, जिसके बाद शीर्ष टीमों को ‘इंडिया मोबाइल कांग्रेस (IMC) 2025’ में अपने इनोवेशन का प्रदर्शन करने का मौका मिलेगा।
सरकार ने इस कार्यक्रम के लिए ₹1.5 करोड़ का बजट निर्धारित किया है, जिसमें सीड फंडिंग, आईपीआर सहायता, मेंटरशिप और अन्य परिचालन लागतों को शामिल किया गया है। इस पहल का उद्देश्य भारत को 5G तकनीक में वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाना और नए इनोवेटर्स को आगे बढ़ने के लिए आवश्यक संसाधन उपलब्ध कराना है।
इस महत्वाकांक्षी पहल के जरिए सरकार भारतीय टेक्नोलॉजी स्टार्टअप्स और छात्रों को 5G इकोसिस्टम का हिस्सा बनने का सुनहरा अवसर दे रही है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि इस प्रतियोगिता में कौन से नए और अनोखे विचार सामने आते हैं।
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