उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार (8 मार्च) को ग्रेटर नोएडा में ‘शारदा केयर-हेल्थ सिटी’ का उद्घाटन किया। इस अवसर पर उन्होंने शारदा ग्रुप को बधाई देते हुए इसे सेवा और निवेश का बेहतरीन संगम बताया। उन्होंने कहा कि एक सभ्य समाज के लिए उत्तम स्वास्थ्य सेवाओं का होना आवश्यक है और सरकार स्वास्थ्य क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा देने के लिए लगातार प्रयास कर रही है।
मुख्यमंत्री ने हेल्थ टूरिज्म के बढ़ते महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि गौतमबुद्ध नगर इस क्षेत्र में एक प्रमुख केंद्र के रूप में उभर रहा है, जिससे पूरी दुनिया की नजर इस पर टिकी हुई है। पिछले एक दशक में भारत के स्वास्थ्य क्षेत्र में अभूतपूर्व विकास हुआ है। जहां 70 वर्षों में केवल 6 एम्स थे, वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पिछले 10 वर्षों में इनकी संख्या बढ़कर 22 हो गई है। उत्तर प्रदेश में 2017 तक मात्र 12 मेडिकल कॉलेज थे, लेकिन पिछले 8 वर्षों में इनकी संख्या 40 तक पहुंच गई है। इसके अलावा, निजी क्षेत्र में 37 मेडिकल कॉलेज और पीपीपी मॉडल के तहत तीन नए मेडिकल कॉलेज (संभल, महाराजगंज और शामली) खोले गए हैं।
आने वाले समय में बलिया और बलरामपुर में भी मेडिकल कॉलेज खुलने जा रहे हैं, जिनके लिए बजट में प्रावधान किया गया है। इसके अतिरिक्त, प्रदेश के शेष 6 जनपदों में भी मेडिकल कॉलेज स्थापित किए जाएंगे। उत्तर प्रदेश में वर्तमान में दो एम्स (गोरखपुर और रायबरेली) और बीएचयू का आईएमएस मौजूद है। प्रत्येक जिले में नि:शुल्क डायलिसिस, सीटी स्कैन और एमआरआई की सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं, साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में भी डॉक्टरों और तकनीकी कर्मचारियों की संख्या बढ़ाई जा रही है। हर रविवार ‘मुख्यमंत्री आरोग्य मेला’ आयोजित किया जाता है, जहां लोगों को स्वास्थ्य योजनाओं की जानकारी दी जाती है।
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सीएम योगी ने बताया कि उत्तर प्रदेश में सबसे अधिक 10 करोड़ लोगों को आयुष्मान भारत योजना के तहत गोल्डन कार्ड दिए गए हैं। इसके अलावा, आशा वर्कर्स, एएनएम, होमगार्ड, पीआरडी जवान और चौकीदारों को भी ₹5 लाख का स्वास्थ्य बीमा दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि हेल्थ टूरिज्म एक तेजी से उभरता हुआ क्षेत्र है और भारत इसमें वैश्विक नेता बन सकता है। गौतमबुद्ध नगर को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) और हेल्थ टूरिज्म का प्रमुख केंद्र बनाने की दिशा में तेजी से कार्य किया जा रहा है।
कोविड महामारी के दौरान की चुनौतियों को याद करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि जब दिल्ली में स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति खराब हो रही थी, तब मेरठ, गाजियाबाद, बुलंदशहर और शामली में मरीजों को बेहतर इलाज मिला। इस दौरान शारदा ग्रुप ने भी अपनी सेवाओं से लोगों को राहत पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उन्होंने विश्वास जताया कि ‘शारदा केयर-हेल्थ सिटी’ विश्वस्तरीय चिकित्सा सुविधाएं प्रदान करेगी और गौतमबुद्ध नगर को हेल्थ टूरिज्म का हब बनाने में महत्वपूर्ण योगदान देगी।