भारत में शहीदों के सम्मान और देश के लिए दिए गए उनके बलिदान को याद करने के लिए हर साल शहीद दिवस मनाया जाता है। दरअसल आज के दिन यानी 23 मार्च को भारत के सपूतों शहीद भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु ने देश के लिए हंसते-हंसते फांसी की सजा को गले लगा लिया था। शादी दिवस के दिन भारत के गौरव, शान और आजादी के लिए लड़ने वाले भगत सिंह और उनके साथी राजगुरु, सुखदेव को श्रद्धांजलि दी जाती है।
दरअसल अंग्रेजी हुकूमत की खिलाफ अपनी आवाज बुलंद करते हुए उन्होंने नई दिल्ली स्थित ब्रिटिश हुकूमत की तत्कालीन सेंट्रल असेंबली के सभागार में बम फेंके थे। जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार किया गया। 24 मार्च 1931 को भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु की फांसी दी जानी थी लेकिन अंग्रेजी हुकूमत उन्हें फांसी के फंदे पर लटकाने को लेकर भी खौफ में थी कि देशवासी उनके शहीद होने पर आक्रोशित हो जाएंगे। ऐसे में तीनों वीर सपूतों को एक रात पहले ही चुपके से फांसी दे दी गई।
बड़े ही कम उम्र में इन वीरों ने देश के आजादी की लड़ाई लड़ी और अपने प्राणों की आहुति दे दी। इसी के साथ भारतीयों के लिए भगत सिंह, शिवराम राजगुरु, सुखदेव प्रेरणा के स्रोत बने हैं। वहीं विभिन्न शिक्षण संस्थाएं और सरकारी तथा गैर सरकारी संगठनों द्वारा इस मौके पर मौन सभा का आयोजन किया जाता है और वीरों की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की जाती है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘शहीद दिवस’ के अवसर पर भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु को श्रद्धांजलि अर्पित की और कहा कि देश उनके बलिदान को हमेशा याद रखेगा।
शहीद दिवस पर देश के गृह मंत्री अमित शाह ने ट्वीट कर लिखा, शहीद भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु ने स्वतंत्रता-आंदोलन को अपने विचारों व प्राणों से सींचकर, जिस क्रांतिभाव का संचार किया, वैसा इतिहास में विरले ही देखने को मिला। इनका शौर्य और देशप्रेम युगों तक प्रेरणादायक रहेगा।
देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी ट्वीट कर लिखा, मां भारती के अमर सपूतों, सरदार भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव को उनके ‘बलिदान दिवस’ पर मैं श्रद्धापूर्वक नमन और वंदन करता हूं।
ये भी देखें
मनसे का नया पार्टी सॉन्ग लांच : मशहूर सिंगर अवधूत गुप्ता ने इस गाने को गाया
‘मोदी हटाओ’ के विरोध में ‘केजरीवाल हटाओ’ का पोस्टर, आप और बीजेपी आमने-सामने