कीव के 91 ड्रोन हमलों का कथित सबूत रूस ने बुधवार को पेश किया है। फुटेज जारी कर रक्षा मंत्रालय ने बताया है कि यूक्रेन ने राष्ट्रपति वोलोदिमीर पुतिन के आवास पर एक साथ कई दिशाओं से हमले का प्रयास किया था। रूसी रक्षा मंत्रालय ने बताया कि ब्रायन्स्क, स्मोलेंस्क और नोवगोरोड क्षेत्रों में 91 ड्रोन मार गिराए गए। यह हमला लक्षित, सुनियोजित और चरणबद्ध तरीके से किया गया था। हालांकि इससे आवास को कोई नुकसान नहीं पहुंचा।
रूसी रक्षा मंत्रालय की ओर से जारी फुटेज में बर्फ में पड़े काले ड्रोन का मलबा, उनके लकड़ी के हिस्से और लाल तारों को देखा जा सकता है। दावा किया गया है कि इसमें 6 किलोग्राम विस्फोटक लदा हुआ था।
🇺🇦🇷🇺 Observa las primeras imágenes del dron utilizado por Kiev en el ataque contra la residencia de Putin
Las tropas de Kiev emplearon para el ataque contra la residencia del presidente de Rusia, Vladímir Putin, drones del tipo Chaklun-V, equipados con una carga altamente… https://t.co/0j6cdvCZ65 pic.twitter.com/Dt2byMaCqp
— Sputnik Mundo (@SputnikMundo) December 31, 2025
रूस ने दावा किया था कि 28-29 दिसंबर की मध्य रात्रि को कीव ने राष्ट्रपति के राजकीय आवास पर 91 ड्रोन भेजे थे, जिसे रूस ने मार गिराया था। विदेश मंत्री लावरोव ने पुष्टि करते हुए एक संदेश जारी किया था। उन्होंने कहा था कि नोवगोरोड क्षेत्र में राष्ट्रपति के राजकीय आवास पर हमला करने के लिए भेजे गए सभी 91 लंबी दूरी के ड्रोन को एयर डिफेंस ने मार गिराया।
विदेश मंत्री लावरोव ने यह भी कहा था कि संघर्ष को सुलझाने के लिए अमेरिका के साथ बातचीत के दौरान इस हमले के बावजूद मॉस्को वार्ता से पीछे नहीं हटेगा। हालांकि रूसी राष्ट्रपति आवास पर किसी भी तरह के हमले की कोशिश को यूक्रेन ने सिरे से खारिज किया था।
दुनिया के कई देशों ने राष्ट्रपति आवास को निशाना बनाए जाने की कड़ी निंदा की थी। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी हमले की खबरों पर चिंता जताते हुए शांति की अपील की थी।
उन्होंने एक्स पर लिखा, ‘रूस के राष्ट्रपति के आवास को निशाना बनाए जाने की रिपोर्ट से बेहद चिंतित हूं। चल रहे डिप्लोमेटिक प्रयास युद्ध को समाप्त करने और शांति हासिल करने की दिशा में सबसे व्यवहार्य मार्ग प्रदान करते हैं। हम सभी संबंधित पक्षों से आग्रह करते हैं कि वे इन प्रयासों पर ध्यान केंद्रित रखें और ऐसे किसी भी कार्य से बचें जो इन्हें कमजोर कर सकता है।’ वहीं बीजिंग ने भी दोनों पक्षों से ‘तनाव बढ़ाने से बचने’ की अपील की थी।
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