सदस्यता गंवाने वाले अकेले राहुल नहीं, इन दिग्गजों को भी गंवानी पड़ी थी ….

राहुल गाँधी से पहले लक्षद्वीप से सांसद मोहम्मद फैजल, रामपुर से विधायक आजम खान, बिहार के सारन से विधायक और सीएम रहे लालू यादव पर भी कार्रवाई हो चुकी है।

सदस्यता गंवाने वाले अकेले राहुल नहीं, इन दिग्गजों को भी गंवानी पड़ी थी ….

कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने कर्नाटक के कोलार में 13 अप्रैल 2019 को चुनावी रैली में कहा था, ”नीरव मोदी, ललित मोदी, नरेंद्र मोदी का सरनेम कॉमन क्यों है? सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों होता है?” सूरत कोर्ट ने मानहानि मामले में गुरुवार को राहुल गांधी को दोषी करार देते हुए 2 साल की सजा सुनाई थी। राहुल गांधी केरल के वायनाड से सांसद थे। वहीं अब इस फैसले के बाद लोकसभा सचिवालय ने राहुल गांधी की संसद की सदस्यता को रद्द कर दिया है।

हालांकि राहुल गांधी पहले ऐसे नेता नहीं हैं, जिन्होंने कोर्ट से दोषी करार दिए जाने के बाद सदस्यता गंवाई है। इससे पहले लक्षद्वीप से सांसद मोहम्मद फैजल, रामपुर से विधायक आजम खान, बिहार के सारन से विधायक और सीएम रहे लालू यादव पर भी कार्रवाई हो चुकी है।

मोहम्मद फैजल (हत्या की कोशिश)- 13 जनवरी 2023 को लक्षद्वीप से सांसद मोहम्मद फैजल की सदस्यता रद्द कर दी गई थी। वह हत्या की कोशिशों के एक मामले में लक्षद्वीप सेशन कोर्ट द्वारा दोषी पाए गए थे। कोर्ट के फैसले के महज दो दिनों बाद ही लोकसभा सेक्रिटेरियट ने एक नोटिफिकेशन जारी कर उन्हें संसद से बाहर का रास्ता दिखा दिया। हालांकि, बाद में केरल हाई कोर्ट ने सेशन कोर्ट के फैसले पर रोक लगा दी। सदस्यता रद्द किए जाने के बाद चुनाव आयोग ने यहां 27 फरवरी को उपचुनाव कराया।

आजम खान (हेट स्पीच केस)- रामपुर के विधायक आजम खान दोषी करार दिए जाने के बाद सदन से बाहर किए जाने वाले नेताओं में शामिल हैं, जो 27 अक्टूबर 2022 को 2019 हेट-स्पीच केस में दोषी पाए गए थे। समाजवादी पार्टी के दिग्गज नेता रहे आजम खान को रामपुर एमपी-एमएलए कोर्ट के एडिश्नल चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट निशांत मोहन ने दोषी पाया था और तीन साल जेल की सजा सुनाई थी। इसके एक दिन बाद ही यूपी विधानसभा सेक्रिटेरियट ने उनकी सदस्यता रद्द कर दी। बाद में उन्हें जेल भी जाना पड़ा। इतना ही नहीं आजम के खिलाफ दर्जनों और केस दर्ज थे, जिसमें अलग-अलग फैसले में वह दोषी करार दिए गए।

लालू प्रसाद यादव (चारा घोटाला मामला)- सदस्यता गंवाने वाले नेताओं की सूची में बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू यादव भी शामिल हैं, जो सैकड़ों करोड़ रुपए के चारा घोटाला केस में दोषी पाए गए थे। उनपर चारा घोटाला केस में कई एफआईआर दर्ज थे। दोषी पाए जाने के बाद 2 अक्टूबर को जारी एक संसदीय नोटिफिकेशन में उनकी सदस्यता रद्द कर दी गई थी। लालू यादव बिहार के सारन से लोकसभा सांसद थे। राष्ट्रीय जनता दल के चीफ लालू यादव को रांची में एक सीबीआई कोर्ट ने 3 अक्टूबर 2013 को दोषी पाया था।

विक्रम सैनी (दंगा केस)- मुजफ्फरनगर दंगा केस में बीजेपी विधायक विक्रम सैनी ने दोषी पाए जाने के बाद विधानसभा की सदस्यता गंवा दी थी। वह मुजफ्फरनगर एमपी-एमएलए कोर्ट द्वारा 2013 के दंगा में उनकी भूमिका के लिए दोषी पाए गए थे और उन्हें दो साल जेल की सजा सुनाई गई थी।

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