मुंबई। एक तरफ राज्य सरकार कोरोना के चलते आर्थिक तंगी का रोना रो रही है पर दूसरी तरफ कोरोना काल मे आधे अधूरे निर्माण कार्य के बावजूद मेट्रो ट्रेन के ट्रायल रन के उद्घाटन पर ठाकरे सरकार ने करोड़ो रूपये फूक दिए। इसके विरोध में सोमवार को भाजपा कार्यकर्ताओं ने भजपा विधायक अतुल भातखलकर के नेतृत्व में विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान विधायक भातखलकर को पुलिस ने हिरासत में भी लिया। भाजपा विधायक अतुल भातखलकर ने कहा कि प्रदेश सरकार पर कोरोना संकट काल में मुंबई मेट्रो परियोजना के मेट्रो ट्रायल रन कार्यक्रमों पर करोड़ों रुपए खर्च करके जनता के पैसों की बर्बादी कर रही है। सोमवार को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने डहाणूकरवाडी से आरे मेट्रो स्टेशन के बीच चलाई जाने वाली मेट्रो ट्रेन के ट्रायल रन का उद्धाटन किया। इस दौरान भाजपा के कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों ने आकुर्ली मेट्रो स्टेशन के बाहर मुख्यमंत्री के विरोध में काला झंडा दिखाया।
पत्रकारों से बातचीत में भातखलकर ने कहा कि मुंबई में कोरोना का संकट है। लेकिन सरकार ने मेट्रो ट्रायल रन के विज्ञापन, लेजर शो और नए स्टेशन को सजाने पर करोड़ों रुपए खर्च किए हैं। एक ओर सरकार के पास कोरोना का टीका खरीदने के लिए पैसे नहीं है और दूसरी तरफ सरकार अनावश्यक खर्च करके राज्य की तिजोरी पर बोझ बढ़ा रही है। भातखलकर ने कहा कि मेट्रो परियोजना के तहत मेट्रो-7 और मेट्रो-2 का निर्माण काम पूरा नहीं हुआ है। कई जगहों पर खंभें तैयार करने का काम चल रहा है लेकिन सरकार ने श्रेय लेने के लिए मेट्रो ट्रेन का ट्रायल रन शुरू कर दिया है। भातखलकर ने कहा कि सरकार ने मुंबई की मेट्रो परियोजना को ठंडे बस्ते में डाल दिया था। इससे मेट्रो परियोजना की लागत बढ़ गई है। सरकार ने आरे मेट्रो कार शेड को कांजूर मार्ग में स्थानांतरित कर दिया है। इस कारण मेट्रो परियोजना की लागत 8 हजार करोड़ रुपए बढ़ गई है।
जानबूझकर कर फडणवीस को नहीं किया आमंत्रित
दूसरी और विधानपरिषद में विपक्ष के नेता प्रवीण दरेकर ने कहा कि जानबूझकर कर विस में विपक्ष के नेता देवेन्द्र फडणवीस को इस कार्यक्रम में नहीं बुलाया गया। दरेकर ने कहा इस मेट्रो परियोजना की शुरुआत फडणवीस ने की थी। इसका पूरा श्रेय उन्हें जाता है। पर सरकार ने जानबूझकर कर उन्हें इस परियोजना के उद्घाटन से दूर रखा। इस लिए भाजपा ने इस कार्यक्रम का बहिष्कार किया है।