मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने एक बेसहारा दादी की मदद की है| धुले स्टेशन पर एक दादी यात्रियों से पैसे या खाना मांगकर अपना गुजारा करती थीं। ये दादी एक न्यूज चैलन के जरिए चर्चा में आईं। ये तीनों वृद्ध दादी एक वीडियो में थुगु अजी अहिरानी भाषा में जाति को लेकर गीत गाते नजर आ रही हैं|इस वीडियो में दादी से उनका नाम और गांव पूछा गया| क्या उसे सरकार से कोई मदद मिलती है? यह पूछा गया| दादी ने बताया था कि हमें किसी से मदद नहीं मिल रही है| ये वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया| संबंधित वीडियो वायरल होने के बाद कई चैनलों उन्हें प्राथमिकता दी। दादी ने अपने दुखों को बताया| इस बीच उन्होंने कहा कि मैं कुछ नहीं करता। वह लोगों से खाना मांगती है और फिर चुपचाप यहीं बैठ जाती हूँ|
सरकार से क्या उम्मीद करती हैं? की बात पर फूट-फूटकर रोने लगती हैं। मेरा बेटा होता तो घर बना लेता| मेरे पास रहने के लिए भी जगह नहीं है| यहां के लोगों से मांगकर खाना खाता हूँ थगु अजी ने कहा। मुख्यमंत्री ने सोशल मीडिया और चैलन पर प्रसारित वीडियों पर संज्ञान लेते हुए मुख्यमंत्री ने तुरंत धुले नगर निगम के अधिकारियों को दादी की मदद करने का निर्देश दिया। इसके बाद धुले नगर निगम कमिश्नर अनिता पाटिल खुद धुले बस स्टैंड पहुंचकर दादी से मिलीं| साथ ही दादी की अस्थायी व्यवस्था धुले के आश्रय केंद्र में की गई| इस आश्रय केंद्र में दादी के लिए निःशुल्क आवास और भोजन की व्यवस्था की जाती है। साथ ही प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि दादी के घर का मसला भी जल्द सुलझा लिया जाएगा|
दादी काफी समय तक यहीं धुले बस स्टेशन पर रहती थीं। हमारी संस्था के कई लोग दादी तक पहुंचने और उन्हें आश्रय स्थल तक पहुंचाने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन दादी काफी समय से टाल रही थीं| कमिश्नर मैडम खुद भी शामिल हुईं| संस्था के प्रतिनिधियों ने दादी को यहां आने के लिए मना लिया| इसके बाद कमिश्नर के आदेश के बाद हम दादी को आश्रय केंद्र ले आये|
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