बसपा सुप्रीमो ने कहा कि अब मैंने खुद भी यह फैसला लिया है कि मेरे जीते जी व मेरी आखिरी सांस तक भी अब पार्टी में मेरा कोई भी उत्तराधिकारी नहीं होगा। जिस फैसले का पार्टी के लोगों ने दिल से स्वागत किया। उन्होंने कहा कि मेरे लिए पार्टी व मूवमेंट पहले है। भाई-बहन व उनके बच्चे तथा अन्य रिश्ते नाते आदि सभी बाद में हैं।
इसी परिपेक्ष्य में उन्होंने पार्टी के लोगों को यह भी विश्वास दिलाया है कि जब तक मैं जिन्दा रहूंगी तो तब तक मैं अपनी आखिरी सांस तक भी अपनी पूरी ईमानदारी व निष्ठा से पार्टी को आगे बढ़ाने का हर सम्भव पूरा-पूरा प्रयास करती रहूंगी। उन्होंने समीक्षा के दौरान कमियों को दूर करके आगे के पार्टी कार्यक्रमों के लिए जरूरी दिशा-निर्देश भी दिए।
बसपा सुप्रीमो ने मिल्कीपुर विधानसभा उपचुनाव नहीं लड़ने के फैसले के बावजूद समाजवादी पार्टी की हार का उल्लेख करते हुए कहा कि अब इसके लिए सपा किसको ज़िम्मेदार ठहराएगी क्योंकि पिछले उपचनुाव में पार्टी की हार के लिए सपा ने बसपा को जिम्मेदार ठहराने का मिथ्या प्रचार किया था।
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