किसानों का प्रदर्शन हुआ हिंसक, 1 और किसान की मौत, 3 पुलिसकर्मियों की मौत !

एक बार फिर किसानों ने अपना आंदोलन हिंसक कर दिया है। इसके बाद पुलिस ने प्रदर्शनकारी किसानों पर आंसू गैस के गोले छोड़े और खदेड़ने के लिए रबर की गोलियों का इस्तेमाल किया। इस घटना में 23 वर्षीय प्रदर्शनकारी किसान की मौत हो गई और 25 अन्य घायल हो गए, जिसमें दो की हालत गंभीर है।

किसानों का प्रदर्शन हुआ हिंसक, 1 और किसान की मौत, 3 पुलिसकर्मियों की मौत !

Farmers' protest turned violent, 1 more farmer died, 3 policemen died!

किसान शंभू और खनौरी सीमा पर बड़ी संख्या में ट्रैक्टर इकट्ठा कर रहे हैं। अपनी मांगों को लेकर किसान दिल्ली कूच की प्लानिंग कर रहे हैं।हालांकि पुलिस ने दोनों सीमाओं पर किसानों को रोककर रखा है।एक बार फिर किसानों ने अपना आंदोलन हिंसक कर दिया है। इसके बाद पुलिस ने प्रदर्शनकारी किसानों पर आंसू गैस के गोले छोड़े और खदेड़ने के लिए रबर की गोलियों का इस्तेमाल किया। इस घटना में 23 वर्षीय प्रदर्शनकारी किसान की मौत हो गई और 25 अन्य घायल हो गए, जिसमें दो की हालत गंभीर है।

‘किसान आंदोलन में यह पांचवीं मौत’: किसान आंदोलन में यह पांचवीं मौत है, मृतक का नाम दर्शन सिंह है, वह 62 साल के थे|वह पंजाब के बठिंडा के अमरगढ़ गांव के रहने वाले थे।दर्शन सिंह 13 फरवरी 2024 से खनुरी बॉर्डर पर थे| किसान नेता सरवन सिंह पंधेर कहा, दर्शन सिंह किसान आंदोलन के पांचवें शहीद हैं|उनकी मौत दिल का दौरा पड़ने से हुई|

करीब 20 पुलिसकर्मी घायल: अंबाला पुलिस के अनुसार, 13 फरवरी 2024 से किसानों के दिल्ली मार्च के सिलसिले में शंभू बॉर्डर पर किसान संगठनों द्वारा लगाए गए बैरिकेड्स को तोड़कर कानून व्यवस्था को बाधित करने की कोशिश की जा रही है| आए दिन पुलिस प्रशासन पर पथराव करने की कोशिश की जा रही है| इस दौरान सरकारी और निजी संपत्ति को काफी नुकसान हुआ है|इस आंदोलन के दौरान लगभग 20 पुलिसकर्मी घायल हो गए,1 पुलिसकर्मी को ब्रेन हैमरेज हुआ और दो पुलिसकर्मियों की मौत हो गई। 

NSA की कार्रवाई: पुलिस के एक आधिकारीक ने बयान में कहा कि कानून-व्यवस्था के उल्लंघन के मामले में किसान नेताओं के खिलाफ एनएसए यानी राष्ट्रीय सुरक्षा कानून लगाया जाएगा। ‘प्रशासन आपराधिक गतिविधियों को रोकने और कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम, 1980 (एनएसए अधिनियम) की धारा 2(3) के तहत किसान संगठनों के पदाधिकारियों को गिरफ्तार करने की प्रक्रिया लागू कर रहा है।

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