एनसीपी में सियासी भूचाल के बाद एक ही पार्टी दो हिस्सों में बंट गई| अजित पवार का समर्थन करने वाला एक गुट भाजपा के साथ चला गया| इसलिए शरद पवार का सम्मान करने वाले वर्ग ने उनके साथ रहने का फैसला किया, लेकिन अजित पवार ने ये फैसला क्यों लिया? ये सवाल बहुत से लोगों के मन में था| इसे लेकर कई तर्क-वितर्क भी हुए| इन सब पर अब वंचित के नेता प्रकाश अंबेडकर ने प्रतिक्रिया दी है|
अजित पवार तिहाड़ जेल नहीं जाना चाहते|प्रकाश अंबेडकर ने कहा है कि उन्हें भाजपा के साथ जाने के लिए मजबूर किया गया| अजितदादा ने शालिनीताई पाटिल के सवाल का खंडन नहीं किया, ये उदाहरण बता रहा है| प्रकाश अंबेडकर ने कहा है कि उन्हें पता है कि अमित शाह क्यों सफल हैं| शरद पवार वरिष्ठ हैं, बुजुर्ग नेता हैं|अम्बेडकर ने यह भी पूछा कि अब उनके पास क्या बचा है?
संभाजी भिड़े ने महात्मा गांधी के बारे में आपत्तिजनक टिप्पणी की थी| इस पर प्रकाश अंबेडकर ने भी प्रतिक्रिया दी है| संभाजी भिड़े के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी| क्योंकि प्रधानमंत्री उनके पैरों पर गिरते हैं| इसलिए उन्होंने कहा कि पुलिस उनके खिलाफ कार्रवाई नहीं करेगी|
जिन्हें लगता है कि महात्मा गांधी का अपमान हुआ| उन्हें भाजपा, शिवसेना, एनसीपी विधायकों के घर के बाहर प्रदर्शन करना चाहिए| वे सरकार में बैठे हैं|अंबेडकर ने कहा है कि इनके खिलाफ आंदोलन किया जाना चाहिए| यद्यपि हमारे देश को भारत कहा जाता है तथापि इसे एक संघ कहा जाता है। इसलिए इसका मिलन महत्वपूर्ण है| क्या माली एक साथ बैठते हैं? क्या शिया-सुन्नी एक साथ बैठते हैं? इसलिए अंबेडकर ने विपक्ष के ‘इंडिया’ मोर्चे पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि हमें मिलकर आगे बढ़ना होगा|
क्या तेलंगाना, आंध्र प्रदेश में जीत सकता है ‘भारत’ गठबंधन? सत्ता में बैठा व्यक्ति सत्ता में आने की कोशिश करने वाला है| अगर मैं मोदी की जगह होता तो मैं भी यही करता| उन्होंने यह भी कहा कि जिसके पास ताला है, उसके पास चाबी है| दिखाओ प्रधानमंत्री के चेहरे का खेल चालू है|ये तरीका गलत है, जो भी प्रधानमंत्री बनेगा उसे अधिक सांसदों का समर्थन चाहिए होगा। लेकिन लोगों का प्रधानमंत्री चुनने का तरीका गलत है| प्रकाश अम्बेडकर ने भी कहा है कि यह पद्धति अराजकता को बढ़ावा देने वाली पद्धति है।
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