बाबरी मस्जिद की ईंट को राज ठाकरे ने उपहार के रूप में किया स्वीकार !

6 दिसंबर को बाबरी की छत ढह गई, बाला नंदगांवकर उन शिवसैनिकों में से थे जो महाराष्ट्र से वहां गए थे। छत गिरने के बाद जो ईंटें वहां थीं, उनमें से बाला नंदगांवकर दो ईंटें ले आए| उनके पास एक ईंट है, आज उन्होंने दूसरी ईंट उपहार में दे दी है'' राज ठाकरे ने कहा|

बाबरी मस्जिद की ईंट को राज ठाकरे ने उपहार के रूप में किया स्वीकार !

महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के अध्यक्ष राज ठाकरे को आज मनसे नेता बाला नादंगावकर ने बाबरी मस्जिद की एक ईंट उपहार में दी। इस उपहार को स्वीकार करने के बाद राज ठाकरे ने उपस्थित पत्रकारों से बातचीत की| 6 दिसंबर को बाबरी की छत ढह गई, बाला नंदगांवकर उन शिवसैनिकों में से थे जो महाराष्ट्र से वहां गए थे। छत गिरने के बाद जो ईंटें वहां थीं, उनमें से बाला नंदगांवकर दो ईंटें ले आए| उनके पास एक ईंट है, आज उन्होंने दूसरी ईंट उपहार में दे दी है” राज ठाकरे ने कहा|

ईंटों के वजन को देखकर लग रहा था कि उस समय निर्माण बहुत अच्छी गुणवत्ता का था,उन्होंने पत्रकारों से पूछा कि यह निर्माण इतना अच्छा क्यों है। पत्रकारों को भी वह क्यों पसंद आया? यह प्रश्न पूछा|इस पर राज ठाकरे ने सिर्फ इतना कहा, ‘उस समय निर्माण के लिए टेंडर जारी नहीं किए गए थे|’

‘मुझे वह ईंट जल्द ही मिल जाएगी’: राज ठाकरे ने कहा, अगर बाला साहेब होते तो उन्हें यह ईंट पाकर खुशी होती। यह ईंट विध्वंस का सबूत है।अब मुझे राम मंदिर के लिए वैसी ही ईंट चाहिए|राज ठाकरे ने कहा, मंदिर का निर्माण अभी भी चल रहा है, मुझे जल्द ही इसके लिए एक ईंट मिल जाएगी।

बाला नंदगांवकर ने क्या कहा?: उस घटना को याद करते हुए सिर्फ जय श्री राम के नारे ही सुनाई दे रहे थे। 32 साल हो गये|मुझे नहीं पता कि उस समय क्या सुझाव दिया गया था, लेकिन मैं एक ईंट लेकर आया था|जब मैंने मझगांव में कार्यालय बनाया तो कार्यालय में ईंट रखी गयी|अब वह पद यशवन्त जाधव के पास है।

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