शिवसेना सांसद मिलिंद देवड़ा ने औरंगजेब के मुद्दे पर समाचार एजेंसी आईएएनएस से कहा, “औरंगजेब का मुद्दा विपक्ष द्वारा उठाया गया, क्योंकि महाराष्ट्र सरकार अच्छा काम कर रही है और लोगों की समस्याओं को दूर करने की कोशिश कर रही है। वे बाधाएं पैदा करना चाहते हैं और लोगों को गुमराह करना चाहते हैं। साथ ही राज्य में असंतोष पैदा करना चाहते हैं। उन्होंने (विपक्ष ने) ही यह सब किया है।”
नागपुर हिंसा पर उन्होंने कहा, “मेरा मानना है कि कुछ समय पहले मुंबई में एक मशहूर अभिनेता के घर पर हमला हुआ था और उस हमले के बाद मुंबई पुलिस की जांच में पता चला कि एक अवैध बांग्लादेशी अप्रवासी ने हमला किया था। इसलिए, इस (नागपुर हिंसा) पर जल्द से जल्द कार्रवाई होनी चाहिए। राज्य सरकार, केंद्र सरकार की एजेंसियों को मिलकर सभी घुसपैठियों, अवैध अप्रवासियों को चिह्नित करना चाहिए और उन्हें जल्द से जल्द निर्वासित करना चाहिए।”
नागपुर हिंसा पर कांग्रेस सांसद श्यामकुमार बर्वे ने कहा, “मैंने भी वीडियो देखा और उसमें चादर जलती हुई दिखाई दे रही है। हालांकि, यह जांच का विषय है कि चादर पर क्या लिखा था। मुझे लगता है कि इस मामले में रिपोर्ट आने तक महाराष्ट्र के गृह मंत्री को बयान नहीं देना चाहिए और वह किसी एक पक्ष के बारे में भी बात न करें। दोनों पक्षों में से जिसकी भी गलती है, उसे सजा देनी चाहिए।
मिलिंद देवड़ा ने मुंबई के दिशा सालियान मौत के मामले पर कहा, “मैं इस मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं करना चाहता। मैं महाराष्ट्र के राजनेताओं से भी अनुरोध करूंगा कि वे इसका राजनीतिकरण न करें। हालांकि, घटनाक्रम गंभीर है और मुझे विश्वास है कि राज्य और केंद्र सरकारें, हमारी न्याय प्रणाली के साथ तत्काल कार्रवाई करेंगी। साथ ही उनके परिवार को न्याय दिया जाएगा।”
भाजपा सांसद तेजस्वी सूर्या ने तमिलनाडु परिसीमन मुद्दे पर कहा, “तमिलनाडु में साल 2026 में चुनाव हो रहे हैं। चुनाव को ध्यान में रखते हुए सत्ताधारी द्रमुक परिसीमन और हिंदी थोपने जैसे मुद्दे उठाकर ड्रामा कर रही है।
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