राज्य के विपक्षी नेता और कांग्रेस विधायक विजय वडेट्टीवार डॉ. बाबा साहब अम्बेडकर ने बयान दिया था कि यदि उन्होंने मुस्लिम धर्म स्वीकार कर लिया होता तो भारत दो भागों में विभाजित हो गया होता।परभणी में दी गयी उनकी टिप्पणी की उनके विरोधियों ने आलोचना की।इस बारे में पूछे जाने पर विजय वडेट्टीवार ने सफाई दी|उन्होंने यह भी अपील की कि मेरे बयान का गलत मतलब न निकाला जाए|
विजय वडेट्टीवार ने कहा, ”जो बात मैंने उस भाषण में उठाई थी, वही बात उस समय कई वक्ताओं ने भी उठाई थी|कई लेखकों ने भी यह मुद्दा उठाया|मैंने वह मुद्दा उस समय के संदर्भ में नहीं, बल्कि आज के संदर्भ में उठाया था।आज यदि डाॅ. बाबा साहब अम्बेडकर ने इस्लाम धर्म अपना लिया होता तो देश दो भागों में बंट गया होता। क्योंकि धर्म में जहर फैलाने वाले लोग आज देश के शासक बन गये हैं।”
“शासक हिंदू-मुसलमानों को एक-दूसरे के खिलाफ खड़ा कर रहे हैं”: “दिल्ली में क्या चल रहा है।” वहां हिंदू और मुसलमानों को एक दूसरे के खिलाफ खड़ा किया जा रहा है|तो आज यदि डॉ.अम्बेडकर ने इस्लाम अपना लिया होता तो देश का क्या होता? मैंने वह बयान आज की स्थिति के अनुसार दिया है|यानि आज अगर डाॅ.अंबेडकर होते और उन्होंने इस्लाम अपना लिया होता तो देश दो हिस्सों में बंट गया होता|विजय वडेट्टीवार ने कहा, ”आज के शासक इसके लिए जिम्मेदार हैं।”
‘देश में जाति-धर्म के आधार पर जहर बोने का काम चल रहा है’ विजय वडेट्टीवार ने आगे कहा, ‘देश में जाति-धर्म के आधार पर जहर बोने का काम चल रहा है| वह कार्यक्रम डाॅ. बाबा साहब अंबेडकर का नहीं, बल्कि बुद्ध की मूर्तियों के वितरण का था। हम बुद्ध के मार्ग पर चलेंगे तो देश और दुनिया शांति के मार्ग पर चलेगी। डॉ.अम्बेडकर ने बौद्ध धर्म स्वीकार करते समय यह स्पष्ट रुख रखा था|
“उस समय बाबासाहेब अम्बेडकर से कई लोगों ने इस्लाम अपनाने का अनुरोध किया था”: “उस समय बाबासाहेब अम्बेडकर से कई लोगों ने इस्लाम अपनाने का अनुरोध किया था। अगर आज होता और उन्होंने ये फैसला ले लिया होता तो देश दो हिस्सों में बंट गया होता| क्योंकि दिल्ली में बैठे आज के शासक दो धर्मों में जहर बो रहे हैं। उन्होंने जो कहा उसका यही मतलब था| वडेट्टीवार ने यह भी कहा कि मेरी बातों का गलत मतलब नहीं निकाला जाना चाहिए|
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