उत्तर प्रदेश में नगर निकाय चुनाव 2023 के चुनाव को 4 और 11 मई यानि दो चरणों में संपन्न हुआ| इस दौरान प्रदेश के 17 नगर महापालिका, 199 नगर पालिका और 544 नगर पंचायतों सहित कुल 14 हजार 684 पदों के लिए चुनाव कराया गया। राज्य के निकाय चुनाव की मतगणना आज यानि 13 मई को सुबह से ही शुरू हो गयी थी| मतगणना के मात्र थोड़े देर बाद से रूझान और चुनाव का रिजल्ट आने तक उम्मीदवारों और संबंधित पार्टियों की निगाहें मतगणना बूथों पर टिकी हुई थी| वही इस चुनाव में भाजपा ने योगी के नेतृत्व में मेयर के 17 की 17 सीटों पर धमाकेदार जीत दर्ज की है| यही नहीं राज्य के नगर पालिका अध्यक्ष चुनाव में भी भाजपा 87 सीटों पर जीत दर्ज सबसे आगे है| साथ ही उत्तर प्रदेश नगर पंचायत अध्यक्ष चुनाव में भाजपा ने कुल 198 स्थानों पर जीत दर्ज कर एक इतिहास रचा है|
बात दें कि पहल चरण के तहत 37 जिलों में 4 मई 2023 को मतदान हुए थे, दूसरे चरण के तहत 38 जिलों में 11 मई को मतदान संपन्न हुए। निकाय चुनाव के परिणामों का ऐलान 13 मई को मतगणना शुरू की गयी। 2017 की तुलना में इस बार के चुनाव में 107 नगरीय निकाय बढ़ गई हैं, इसमें एक नगर निगम, एक नगर पालिका परिषद व 105 नगर पंचायतें हैं।
वाराणसी नगर निगम में 100 पार्षद की सीटें हैं। 56 सीटों पर भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशियों ने जीत हासिल की है। 13 पर सपा और 15 निर्दलीय प्रत्याशियों ने भी बाजी मार ली है। 7 सीटों पर कांग्रेस के प्रत्याशी चुनाव जीतने में कामयाब हुए। गोरखपुर नगर निगम की बात जाये तो 80 पार्षद की सीटें हैं। इनमें से 41सीटों पर भाजपा उम्मीदवारों ने जीत हासिल की है। 17 पर सपा, 5 बसपा, 1 कांग्रेस और 15 सीटों पर निर्दलीय उम्मीदवार चुनाव जितने में सफल रहे|
बात दें कि इटावा और मैनपुरी सपा सुप्रीमों अखिलेश यादव का अभेद्य किला माना जाता है। इटावा में तीन नगर पालिका अध्यक्ष पद, 90 नगर पालिका परिषद सदस्य, तीन नगर पंचायत अध्यक्ष और 37 नगर पंचायत सदस्यों की सीट है। अब तक के नतीजों पर गौर करें तो भाजपा को 2 पर जीत मिली है, जबकि 9 पर सपा प्रत्याशियों ने जीत हासिल की है। इसी तरह मैनपुरी में नगर पंचायत सदस्यों की 11 सीट पर भाजपा को जीत मिली है। सपा ने सात सीटों पर अभी तक कब्जा किया है। नगर पंचायत अध्यक्ष की सीट सपा ने जीत ली है।
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