प्रदूषण मामला: दिल्ली सरकार को ‘सुप्रीम’ की फटकार !, जीआरएपी का चरण 4 लागू!

दिल्ली सरकार को प्रदूषण को रोकने के उपायों को लागू करने में देरी पर सवाल उठाया|

प्रदूषण मामला: दिल्ली सरकार को ‘सुप्रीम’ की फटकार !, जीआरएपी का चरण 4 लागू!

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सुप्रीम कोर्ट ने 14 नवंबर को सुनवाई के दौरान जीआरएपी-4 के तहत याचिका को तत्काल सूचीबद्ध करने पर सहमति जताई थी। कोर्ट को बताया गया था कि बढ़ते प्रदूषण के कारण दिल्ली को दुनिया का सबसे प्रदूषित शहर बनने की ओर बढ़ रहा है। वही, दूसरी ओर दिल्ली सरकार को प्रदूषण को रोकने के उपायों को लागू करने में देरी पर सवाल उठाया|

बता दें कि जस्टिस अभय एस.ओका और ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की पीठ ने बताया कि राष्ट्रीय राजधानी में वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) के खतरनाक स्तर पर पहुंचने के बाद भी ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (जीआरएपी) के चरण 4 के तहत निवारक उपायों के कार्यान्वयन में देरी हुई।कोर्ट ने फटकार लगाते हुए कहा कि वह बिना पूर्व अनुमति के प्रदूषण रोकने या कम करने के उपायों को हटाने या कम करने की अनुमति नहीं देगा।

पीठ ने वकील से कहा कि जैसे ही एक्यूआई 300 से 400 के बीच पहुंचता है, चरण 4 लागू करना होता है। आप जीआरएपी के चरण 4 में देरी करने का जोखिम कैसे उठा सकते हैं? कोर्ट ने कहा कि कोर्ट जानना चाहता है कि उसने प्रदूषण के स्तर में खतरनाक बढ़ोतरी को रोकने के लिए क्या कदम उठाए हैं?

गौरतलब है कि इससे पहले सुनवाई की शुरुआत में दिल्ली सरकार के वकील ने पीठ को बताया कि दिल्ली में जीआरएपी का चरण 4 सोमवार से लागू हो गया है। इसके तहत भारी वाहनों को राष्ट्रीय राजधानी में प्रवेश करने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।

पीठ ने कहा कि हम चरण 4 के तहत निवारक उपायों को कम करने की अनुमति नहीं देंगे, भले ही एक्यूआई 300 से नीचे चला जाए। चरण 4 तब तक जारी रहेगा, जब तक न्यायालय इसकी अनुमति नहीं देता। पीठ ने कहा कि वह दिन के काम के अंत में मामले की विस्तार से सुनवाई करेगी।

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