27 C
Mumbai
Saturday, November 23, 2024
होमन्यूज़ अपडेटमहिलाओं के लिए मुंबई उपनगर जिले का सुरक्षा पैटर्न !

महिलाओं के लिए मुंबई उपनगर जिले का सुरक्षा पैटर्न !

मुंबई उपनगर जिला कार्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में बोलते हुए कौशल विकास मंत्री मंगल प्रभात लोढ़ा ने बताया कि राज्य के सभी औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों और मुंबई उपनगर के हर कॉलेज में 1 सितंबर से लड़कियों को आत्मरक्षा प्रशिक्षण दिया जाएगा।

Google News Follow

Related

मुंबई, 21 अगस्त: कैबिनेट मंत्री और मुंबई उपनगर जिले के पालकमंत्री मंगल प्रभात लोढ़ा ने एक पत्र के माध्यम से महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा के संबंध में मुंबई उपनगर के जिला कलेक्टर को महत्वपूर्ण निर्देश दिए हैं। इस पत्र में मुख्य रूप से कहा गया है कि महिलाओं और छात्रों की सुरक्षा के लिए सभी आवश्यक उपाय किए जाने चाहिए।
वहीं, आज बांद्रा स्थित मुंबई उपनगर जिला कार्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में बोलते हुए कौशल विकास मंत्री मंगल प्रभात लोढ़ा ने बताया कि राज्य के सभी औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों और मुंबई उपनगर के हर कॉलेज में 1 सितंबर से लड़कियों को आत्मरक्षा प्रशिक्षण दिया जाएगा।

अपने पत्र में मंत्री लोढ़ा ने कहा, ”महिलाओं और बच्चों के खिलाफ बढ़ती हिंसा, सरकार,प्रशासन और हमारे समाज के लिए चिंता का विषय है। बदलापुर में हुई घटना के जवाब में नागरिकों ने कुछ उपाय सुझाए हैं। महिला सुरक्षा की अनदेखी की वजह से ऐसी घटनाएं देखने को मिल रही हैं। इसे ध्यान में रखते हुए केजी से लेकर पोस्ट ग्रेजुएशन तक के सभी शिक्षण संस्थानों को सख्त निर्देश दिए जाने चाहिए और विभिन्न संस्थानों को अपने यहां तैनात स्टाफ की भी जांच करनी चाहिए, किसी भी अनहोनी से बचने के लिए सभी को सावधानी बरतनी चाहिए!”

पत्र में मंत्री लोढ़ा ने ये निर्देश दिये हैं,

  1.  स्कूल परिसर में शौचालय को छोड़कर पूरे परिसर को सीसीटीवी के दायरे में लाया जाए। इसके लिए कैमरे लगाए जाने चाहिए और समय-समय पर बिट मार्शल/मोबाइल पुलिस टीमद्वारा उनका सत्यापन किया जाना चाहिए ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि वे सुरक्षित और अच्छी स्थिति में हैं।
  2. लड़कियों के शौचालयों के बाहर स्थायी निगरानी के लिए एक महिला कर्मचारी नियुक्त की जानी चाहिए।
  3. नाबालिग लड़कियों और 10वीं कक्षा में पढ़नेवाली लड़कियों के लिए शौचालयों की सफाई कर्मचारी महिलाएं होनी चाहिए।
  4. छात्रों के लिए चलने वाली बसों, टैक्सियों, वैन में एक महिला कर्मचारी होनी चाहिए।
  5. विद्यालय में कार्यरत सफाई कर्मचारियों का पुलिस सत्यापन कराया जाए।
  6. स्कूल प्रशासन को लड़कियों को आत्मरक्षा का पाठ पढ़ाने के लिए स्थानीय गैर सरकारी संगठनों की मदद लेनी चाहिए।
  7. स्कूल में आपातकालीन स्थिति में बच्चे/बच्चों को स्कूल की शिकायत हेल्पलाइन नंबर 1098 पर देनी चाहिए। ऐसे में स्कूल में पोस्टर लगाए जाने चाहिए।
  8. विद्यालय में महिला अभिभावकों की एक अलग समिति बनाई जाए। बालिकाओं की समस्याओं पर चर्चा के लिए यह बैठक हर माह होनी चाहिए।
  9. सभी स्कूलों और कॉलेजों को आपातकालीन स्थिति में महिलाओं और लड़कियों के लिए हेल्पलाइन 181 का उपयोग करने के बारे में प्रत्येक कक्षा, क्षेत्र में पोस्टर लगाने का निर्देश दिया जाना चाहिए।

यह भी पढ़ें:

पाकिस्तानियों ने किया अपने ही सर्वोच्च न्यायालय पर हमला !

लेखक से अधिक

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें

The reCAPTCHA verification period has expired. Please reload the page.

हमें फॉलो करें

98,299फैंसलाइक करें
526फॉलोवरफॉलो करें
193,000सब्सक्राइबर्ससब्सक्राइब करें

अन्य लेटेस्ट खबरें