शेकाप के जयंत पाटिल ने नीलम गोरे की पोस्ट पर जताई आपत्ति, फडणवीस ने कहा..!

शेकाप के जयंत पाटिल ने भी भाजपा नेताओं को संबोधित करते हुए कहा कि हम कोर्ट नहीं जाएंगे क्योंकि यह आपके लिए आसान है| जैसे ही नीलम गोरे शिवसेना में शामिल हुईं, जयंत पाटिल ने उनके अध्यक्ष पद पर आपत्ति जताई।

शेकाप के जयंत पाटिल ने नीलम गोरे की पोस्ट पर जताई आपत्ति, फडणवीस ने कहा..!

Shekaap's Jayant Patil objected to Neelam Gorha's post, Devendra Fadnavis said..!

विधान परिषद की कार्यवाही शुरू होने के कुछ देर बाद ही समाप्त हो गई| नए मंत्रियों का परिचय कराने के बाद शेकाप के जयंत पाटिल ने विधान परिषद अध्यक्ष नीलम गोरे के समक्ष आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि अध्यक्ष महोदया आपके खिलाफ आपत्ति है| जयंत पाटिल ने कहा है कि सदन चलाने के दौरान जो लोग इस पद पर बैठे, उनके पास कोई पार्टी नहीं थी| विधान परिषद के सभापति की पार्टी सदस्यता चली जाती है| शेकाप के जयंत पाटिल ने भी भाजपा नेताओं को संबोधित करते हुए कहा कि हम कोर्ट नहीं जाएंगे क्योंकि यह आपके लिए आसान है| जैसे ही नीलम गोरे शिवसेना में शामिल हुईं, जयंत पाटिल ने उनके अध्यक्ष पद पर आपत्ति जताई।

क्या कहा देवेन्द्र फडणवीस ने?: इसके बाद प्वाइंट ऑफ ऑर्डर के जरिए देवेन्द्र फडणवीस ने कहा कि स्पीकर के खिलाफ कभी भी इस तरह की आपत्ति नहीं की जा सकती| इसके कुछ नियम हैं| यदि यह नियमों के अंतर्गत फिट बैठता है तो ही आपत्तियां की जा सकती हैं। अत: यह आपत्ति स्वीकार नहीं की जा सकती। स्पीकर से मेरा अनुरोध है कि आज जब शोक प्रस्ताव जैसा महत्वपूर्ण प्रस्ताव हो तो कोई भी गैरकानूनी काम नहीं किया जा सकता| इसलिए, देवेन्द्र फडणवीस ने नीलम गोरे द्वारा उठाई गई आपत्ति को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि माननीय सदस्य द्वारा उठाई गई आपत्ति पर सदस्यों को नोटिस दिए बिना कार्रवाई नहीं की जा सकती। इसके बाद नीलम गोरे खुद बोलने के लिए खड़ी हुईं|

नीलम गोरे ने क्या कहा?: मैंने विधान परिषद सदस्य जयंत पाटिल को बोलने की अनुमति दी। मैं एक लोकतांत्रिक व्यक्ति हूं,लेकिन मैं एक बात कहना चाहता हूं| अगर आप हंगामा करना चाहते हैं तो पहले बता दूं कि हम शोक दिवस पर कोई अन्य प्रस्ताव नहीं लेते।आज मेरा आपसे अनुरोध है कि यदि हम समूह नेताओं की बैठक में होते तो मैं समय निश्चित कर देता, लेकिन आप नहीं आये, विपक्षी दल के नेता नहीं आये, ग्रुप लीडर नहीं आये|इससे आपको मुझ पर आपत्ति जताने का समय मिल जाता|​​हम कल देखेंगे कि उन्हें कब सहमति देनी है|​​ यह बात नीलम गोरे ने कही है|​​ इसके बाद उन्होंने अध्यादेश पढ़ने का निर्देश दिया| इस बीच नारेबाजी चल रही थी| तो देवेंद्र फड़नवीस ने एक बार फिर कहा कि सदन को इस तरह से नहीं चलाया जा सकता, यह लोकतंत्र के लिए अभिशाप है| नीलम गोरे शिवसेना में शामिल हो गईं|इसीलिए जयंत पाटिल ने इसे लिया|
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