भगवान राम हिन्दू समुदाय के आराध्य देवता है। भगवान राम, भगवान श्री विष्णु के सातवें अवतार माने जाते हैं। उनके भक्त भारत में ही नहीं देश दुनिया भर में फैले हुए हैं। भगवान राम को महानायक के रूप में पूजा जाता है। ऐसे में यह जाना जरुरी हो जाता है कि आखिर भगवान राम का कहां कहां मंदिर है। रामनवमी के अवसर में भगवान श्रीराम के मंदिरों की बातें जानते हैं।
अयोध्या का कनक भवन: सबसे पहले हम उत्तर प्रदेश की नगरी अयोध्या की बात करते हैं। इस पावन स्थान को भगवान राम की जन्मभूमि मानी जाती है। हिन्दू मान्यता है कि भगवान राम का जन्म त्रेतायुग में अयोध्या में हुआ है। वर्तमान में इस स्थान पर भव्य राम मंदिर बनाया जा रहा है। वहीं, अयोध्या में कनक भवन भी भक्तों के आस्था का केंद्र है। इस भवन के बारे में कहा जाता है कि जब भगवान राम की शादी माता सीता से हुई थी उस समय कैकेयी ने इस भवन को माता सीता को मुंह दिखाई में दिया था। इस भवन में माता सीता,भगवान राम और लक्ष्मण की खूबसूरत प्रतिमाएं स्थापित हैं। यहां सूर्योदय और सूर्यास्त का समय बड़ा ही आलोकित होता है।
मध्य प्रदेश का राजा राम मंदिर: इसी तरह, भगवान राम का मध्य प्रदेश के ओरछा में स्थित राजा राम मंदिर बड़ा प्रसिद्ध है। मान्यता है कि इस भवन में भगवान प्रतिदिन सोने के लिए रात में आते हैं। वही, सुबह होते ही भक्त हनुमान भगवान राम को लेकर अयोध्या लौट जाते हैं। गौरतलब है कि यह मंदिर बेतवा नदी के किनारे स्थित है।
नासिक का कालाराम मंदिर: दूसरी ओर, महाराष्ट्र के नासिक में स्थित कालाराम मंदिर भी राम भक्तों के लिए आस्था का केंद्र हैं। यहां भगवान राम की 2 फीट की प्रतिमा स्थापित है। यह प्रतिमा काले पत्थर की है। कालाराम मंदिर के बारे में बताया जाता है कि जब भगवान राम चौदह वर्ष के लिए वनवास आये थे उसी दौरान यहां पर माता सीता और अपने भाई लक्ष्मण के साथ रुके हुए थे।
तमिलनाडु का रामास्वामी मंदिर: वहीं, तमिलनाडु के रामास्वामी मंदिर भी दक्षिण के राम भक्तों में काफी लोकप्रिय है। इस मंदिर को दक्षिण का अयोध्या कहा जाता है। यहां वैष्णव भक्तों की हमेशा भीड़ लगी रहती है। देश में एकमात्र राम मंदिर है जहां भगवान राम के साथ माता सीता, लक्ष्मण, शत्रुघ्न और भरत की प्रतिमाएं हैं। जम्मू के उत्तर भारत में स्थित रघुनाथ मंदिर भी मर्यादा पुरुषोत्तम राम के लोकप्रिय मंदिरों में शुमार किया जाता है। इस मंदिर में भगवान राम के साथ श्री विष्णु के अन्य अवतारों को देखा जा सकता है। इस मंदिर के बारे में मान्यता है कि यह दर्शन करने वाले भक्तों को 33 कोटि देवताओं का आशीर्वाद मिलता है।
कर्नाटक का कोदंडाराम मंदिर: कर्नाटक के कोदंडाराम मंदिर का भी जिक्र करना जरुरी है। क्योंकि इस मंदिर में स्थित माता सीता की प्रतिमा के बारे में हमेशा चर्चा होती रहती हैं। यह मंदिर भी राम भक्तोंके लिए आस्था का बड़ा केंद्र हैं। कोदंडाराम मंदिर में सबसे बड़ी खासियत यह है कि भगवान राम, लक्ष्मण के दाहिनी ओर माता सीता जी खड़ी है। उत्तर प्रदेश के चित्रकूट में भी भगवान राम से जुड़े मंदिर मिल जायेंगे। वनवास के समय भगवान राम , माता सीता और लक्ष्मण यहां रुके थे। इसी तरह पंजाब के अमृतसर में स्थित श्री राम तीर्थ मंदिर भगवान राम के भक्तों में प्रसिद्ध है। यहां भगवान राम लंका से लौटने के बाद जब सीता माता का त्याग किया था। तो इसी स्थान पर माता सीता ने महर्षि वाल्मीकि के आश्रम में रुकी थीं। यहीं उन्होंने लव कुश पुत्रों को जन्म दिया था।
केरल का त्रिप्रायर श्री राम मंदिर: केरल का त्रिप्रायर श्री राम मंदिर भी प्रसिद्ध राम मंदिर है। यह मंदिर केरल केर के त्रिशूर शहर में स्थित है। लोगों की मान्यता है कि इस मंदिर में पूजाअर्चना करने से बुरी आत्माओं से लोग बच जाते हैं। इस मंदिर के बारे में मान्यता है कि यहां स्थित भगवान राम की प्रतिमा का भगवान श्री कृष्ण स्वयं पूजा करते हैं।
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