प्रशांत कारुलकर
गृह मंत्री अमित शाह ने घोषणा की है कि भारत ने म्यांमार के साथ दशकों पुरानी मुक्त आवागमन व्यवस्था (Free Movement Regime – FMR) को समाप्त करने का फैसला किया है। उन्होंने भारत की आंतरिक सुरक्षा और पूर्वोत्तर राज्यों के जनसांख्यिकीय ढांचे को बनाए रखने के लिए इसे जरूरी बताया। आइए जानते हैं कि यह फैसला भारत की सुरक्षा के लिए क्यों महत्वपूर्ण है:
सीमा पार अवैध गतिविधियों पर रोक:
FMR के तहत सीमावर्ती इलाकों में रहने वाले लोग बिना किसी दस्तावेज के 16 किलोमीटर तक दूसरे देश में प्रवेश कर सकते थे। इससे सीमा पार अवैध गतिविधियों, जैसे हथियारों की तस्करी, मादक पदार्थों की तस्करी और मानव तस्करी को अंजाम देना आसान हो जाता था। FMR को समाप्त करने से इन गतिविधियों पर काफी हद तक रोक लगने की उम्मीद है।
आतंकवाद और उग्रवाद पर नियंत्रण:
म्यांमार में चल रही अशांति और वहां सक्रिय विभिन्न उग्रवादी गुटों से खतरा बना हुआ है। FMR का दुरुपयोग कर ये गुट आसानी से भारत में घुसपैठ कर सकते थे। इसे खत्म करने से आतंकवाद और उग्रवाद के खतरे को कम करने में मदद मिलेगी।
अवैध प्रवास पर रोक:
खुली सीमा होने के कारण म्यांमार से बड़ी संख्या में लोग अवैध रूप से भारत में प्रवेश कर सकते थे। इससे पूर्वोत्तर राज्यों के जनसांख्यिकीय ढांचे पर असर पड़ता था। FMR को समाप्त करने से अवैध प्रवास पर रोक लगेगी और जनसांख्यिकीय संतुलन बनाए रखने में मदद मिलेगी।
बेहतर सीमा प्रबंधन:
FMR के कारण सीमा पार आवाजाही पर नजर रखना मुश्किल था। इसे खत्म करने से सीमा प्रबंधन को मजबूत बनाने में मदद मिलेगी और सीमा पार होने वाली सभी गतिविधियों पर बेहतर नियंत्रण रखा जा सकेगा।
राष्ट्रीय सुरक्षा को मजबूती:
उपरोक्त सभी कारणों से FMR को समाप्त करना भारत की राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। इससे सीमा पार अवैध गतिविधियों, आतंकवाद, उग्रवाद और अवैध प्रवास पर रोक लगाने में मदद मिलेगी और देश की सुरक्षा मजबूत होगी।
हालांकि, इस फैसले के कुछ सामाजिक और आर्थिक पहलुओं पर सरकार का विचार जारी है। पर भारत माता की सुरक्षा के उपर कोई और मुद्दा महत्वपूर्ण नहीं है।
ये भी पढ़ें