दिल्ली विश्वविद्ययालय के प्रोफ़ेसर ने ज्ञानवापी मस्जिद में मिले शिवलिंग के दावे पर विवादित पोस्ट करने पर शुक्रवार रात गिरफ्तार किया गया है।जिसकी वजह से एआईएसए के छात्र इस गिरफ्तारी का विरोध कर रहे है। छात्रों ने प्रोफ़ेसर को तकाल रिहा करने की मांग कर रहे हैं। यह कार्रवाई दिल्ली की विशेष पुलिस ने की है। प्रोफ़ेसर रतनलाल के खिलाफ धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के आरोप में केस दर्ज किया गया।
सुप्रीम कोर्ट के वकील विनीत जिंदल ने प्रोफ़ेसर के खिलाफ केस दर्ज करवाया था। अब इस गिरफ्तारी ने दिल्ली विश्वविद्ययालयका माहौल गरमा दिया है। एआईएसए के छात्रों ने प्रोफ़ेसर की गिरफ्तारी का विरोध कर रहें हैं। कुछ छात्र रात को साइबर सेल के बाहर विरोध भी जताया। वहीं, संगठन और छात्रों को एकत्रित होने के लिए कहा है।
मालूम हो कि ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे के दौरान हिन्दू पक्ष ने दावा कि वजूखान में शिवलिंग मिला। जिसके बाद प्रोफ़ेसर रतनलाल ने इस पर फेसबुक पर एक पोस्ट करते हुए लिखा था कि शिवलिंग को तोडा नहीं गया है बल्कि काटा गया है। उन्होंने कहा था कि मै इतिहास का छात्र हूँ, इतिहास का छात्र अपने हिसाब से चलता है।
दिल्ली पुलिस का कहना है प्रोफ़ेसर के खिलाफ जानबूझकर और दुर्भावनापूर्ण पोस्ट करने की शिकायत की गई थी। उन पर आरोप है कि प्रोफ़ेसर ने धार्मिक भावनाओं को आहात किया।
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