इजरायल के रक्षा मंत्रालय ने पुष्टि की है कि इजरायली-अमेरिकी बंधक एडन अलेक्जेंडर को गाजा से रिहा कर इजरायल लाया गया है। वह 19 महीने से हमास की कैद में थे। गाजा से दक्षिणी इजरायल के रीम सैन्य अड्डे पर पहुंचने के बाद अलेक्जेंडर की प्राथमिक चिकित्सा जांच की गई।
समाचार एजेंसी के अनुसार, अलेक्जेंडर को हमास ने 7 अक्टूबर 2023 को दक्षिणी इजरायल पर हमले के दौरान अगवा किया था। उस आतंकी हमले में करीब 1,200 लोगों का कत्ल हुआ और 251 लोग बंधक बना लिए गए थे। अलेक्जेंडर की रिहाई वाशिंगटन और हमास के बीच हुई सीधी बातचीत के बाद संभव हुई।
इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा, “देश एडन को गले लगाता है। सरकार सभी बंधकों और लापता लोगों — जीवित और मृत — को वापस लाने के लिए प्रतिबद्ध है और जब तक सभी घर नहीं लौट जाते, तब तक अथक प्रयास जारी रहेगा।”
इजरायली स्वास्थ्य मंत्रालय की प्रवक्ता शिरा सोलोमन ने बताया कि अलेक्जेंडर को इचिलोव अस्पताल, तेल अवीव में स्थानांतरित किया गया है, जहां उन्हें आवश्यक चिकित्सकीय, मनोवैज्ञानिक और पुनर्वास सेवाएं प्रदान की जाएंगी।
गाजा के खान यूनिस शहर में एक निर्धारित स्थान पर अंतरराष्ट्रीय रेड क्रॉस समिति की टीम को सौंपे जाने के बाद अलेक्जेंडर को इजरायली सेना द्वारा नियंत्रित बफर जोन से होते हुए रीम बेस लाया गया। हमास के सशस्त्र विंग अल-कासम ब्रिगेड ने बयान में कहा कि अलेक्जेंडर की रिहाई युद्धविराम, मानवीय सहायता और सीमाओं के खोलने को लेकर चल रही मध्यस्थता का हिस्सा है।
वहीं, अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ट्रुथ सोशल प्लेटफॉर्म पर अलेक्जेंडर की रिहाई का स्वागत करते हुए लिखा, “एडन अलेक्जेंडर, आखिरी जीवित अमेरिकी बंधक रिहा हो रहे हैं। उनके माता-पिता, परिवार और दोस्तों को बधाई।”
तेल अवीव के होस्टेजेस स्क्वायर में बड़ी संख्या में लोग एकत्र हुए और बड़ी स्क्रीन पर अलेक्जेंडर की वापसी को देखा। इस दौरान रिहा किए गए बंधक की तस्वीरों के साथ तख्तियां भी प्रदर्शित की गईं, जिन पर लिखा था कि बाकी बंधकों की रिहाई युद्ध समाप्त होने के बाद ही संभव है।
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