बिहार: बाढ़ का कहर, कई गांवों में घुसा पानी, नदियां उफान पर

​पड़ोस देश नेपाल में लगातार हो रही बारिश के कारण बिहार की नदियां उफान पर है| कोसी, गंडक और बागमती नदियां खतरे के ऊपर चल रही है|

बिहार: बाढ़ का कहर, कई गांवों में घुसा पानी, नदियां उफान पर

बिहार में बाढ़ का कहर बढ़ता ही जा रहा है| कोसी, गंडक और गंगा आदि सभी नदियां खतरे के निशान से ऊपर है| पटना में गंगा का जल स्तर भी तेजी से बढ़ता दिखाई दे रहा है| ​जल संसाधन विभाग हाई एलर्ट पर है| नदियों पर बंधे बांधों के भरने और अतिरिक्त पानी छोड़ने के कारण आसपास के कई गांवों में बाढ़ संकट बढ़ गया है|

​पड़ोस देश नेपाल में लगातार हो रही बारिश के कारण बिहार की नदियां उफान पर है| कोसी, गंडक और बागमती नदियां खतरे के ऊपर चल रही है| कोसी नदी में जल-स्‍तर तेजी से बढ़ने के कारण सुपौल के वीरपुर बराज के 56 में से 35 फाटक खोल दिए गए हैं। बराज से 2 लाख 29 हजार क्‍यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है। पश्चिम चंपारण स्थित वाल्‍मीकिनगर गंडक बराज से गंडक नदी में तीन लाख क्‍यूसेक से अधिक पानी का लगातार छोड़ा जा रहा है।

राज्य का प्रसिद्ध ​बाल्मीकिनगर टाइगर रिजर्व (वीटीआर) में भी गंडक का पानी घुसने से​​ जंगली जानवर रिहायशी इलाकों में घुस रहे हैं।सुपौल के किशनपुर प्रखंड में भी सड़क संपर्क टूट गई है। निर्मली प्रखंड में 200 एकड़ क्षेत्र में धान की फसल डूब गई है।

नेपाल​-बिहार के सीमावर्ती क्षेत्र में महानंदा नदी भी कई स्थानों​ ​पर खतरे​​ से ऊपर बह रही है। कटिहार के आजमनगर के आधा दर्जन से अधिक गांवों में महानंदा का पानी घुस गया है। कनकई और परमान नदियों के जलस्तर में भी लगतार वृद्धि हो रही है।पश्चिम चंपारण के गौनाहा में कटहा नदी पर ​बने पुल के टूटने के बाद गांवों का संपर्क समाप्त हो गया है| लखीसराय से कई क्षेत्रों का बाढ़ के कारण सड़क संपर्क भी टूट गया है|

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