इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने एक बार फिर दोहराया है कि उनका देश ईरान को परमाणु हथियार प्राप्त करने की अनुमति नहीं देगा। यह बयान उस समय आया है जब तेहरान और अमेरिकी प्रशासन के बीच नए परमाणु समझौते पर फिर से बातचीत शुरू होने की खबरें आ रही हैं।
प्रधानमंत्री कार्यालय ने गुरुवार को एक बयान में कहा, “प्रधानमंत्री ने कई बार स्पष्ट किया है कि इजरायल ईरान को परमाणु हथियार हासिल करने नहीं देगा।” कार्यालय ने यह भी कहा कि नेतन्याहू ने ईरान के परमाणु कार्यक्रम के खिलाफ अनगिनत प्रत्यक्ष और गुप्त अभियान चलाए और वैश्विक स्तर पर इस मुद्दे के खिलाफ अभियान का नेतृत्व किया।
ईरान के विदेश मंत्री सईद अब्बास अराघची ने पिछले शनिवार को ओमान की राजधानी मस्कट में अमेरिकी राष्ट्रपति के विशेष दूत स्टीव विटकॉफ से तेहरान के परमाणु कार्यक्रम पर मुलाकात की थी। दोनों पक्षों ने इस बैठक को ‘रचनात्मक’ बताया। यह बैठक उस वक्त हुई जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मार्च की शुरुआत में यह जानकारी दी थी कि संयुक्त अरब अमीरात के माध्यम से ईरानी नेताओं ने एक पत्र भेजा था, जिसमें परमाणु कार्यक्रम पर वार्ता की पेशकश की गई थी। इसके बाद, ईरान ने अप्रत्यक्ष वार्ता पर सहमति व्यक्त की।
इजरायल और पश्चिमी देशों का यह मानना रहा है कि ईरान परमाणु हथियार बनाने की दिशा में काम कर रहा है, हालांकि ईरान इस आरोप को बार-बार नकारता आया है। नेतन्याहू का यह बयान शनिवार को रोम में अमेरिका और ईरानी प्रतिनिधिमंडल के बीच ओमानी मध्यस्थता वाली दूसरे दौर की वार्ता से पहले आया है।
ईरान के परमाणु कार्यक्रम पर बातचीत के जरिए समझौता करने के ट्रंप के प्रयास, नेतन्याहू की सैन्य कार्रवाई का उपयोग करके इस मुद्दे का समाधान निकालने की उनकी पुरानी नीति के विपरीत नजर आते हैं।
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