उन्होंने मीडिया से बातचीत में कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी बिहार आने पर भले नीतीश कुमार को बिहार का लाडला मुख्यमंत्री बता रहे थे, लेकिन मेरी अपील है कि वे अगली बार बिहार आएं तो उन्हें यह घोषणा करनी चाहिए कि यही लाडले व्यक्ति अगले पांच वर्ष भी मुख्यमंत्री रहेंगे।
उन्होंने कहा कि इस घोषणा के बाद भाजपा को चंपारण में एक-एक सीट पर हार का सामना करना पड़ेगा। भाजपाई नीतीश कुमार को खाली मुखौटा बनाकर वोट लेना चाहते हैं, चुनाव जीतने के बाद इस बार नीतीश कुमार को हटाकर अपना मुख्यमंत्री बनाएंगे।
प्रशांत किशोर ने कहा कि नीतीश कुमार में इतना दम नहीं है कि पलटी मार लें, वह चुनाव जीतने के बाद पलटी मारते हैं। नीतीश कुमार ने 2015 के अलावा अपने पूरे जीवन में भाजपा के बगैर चुनाव नहीं लड़ा है, वह लड़ते ही हैं भाजपा की ताकत और संगठन के भरोसे।
प्रशांत किशोर ने बिहार सरकार के बजट को निराशाजनक बताते हुए छलावा करार दिया। उन्होंने कहा कि यह बजट पिछले 18-19 वर्षों से एक जैसा है, जिसमें न तो प्रति व्यक्ति आय बढ़ाने की योजना है और न ही पलायन रोकने की। शिक्षा सुधार, रोजगार और उद्योग स्थापना पर भी कोई ठोस प्रावधान नहीं किया गया। बिना ठोस नीति के बिहार की स्थिति में कैसे सुधार आएगा?
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