दिल्ली के छतरपुर विधासभा क्षेत्र से विधायक करतार सिंह तंवर की विधायकी भाजपा में जाने के बाद चली गई है। बता दें की आम आदमी पार्टी से चुनाव लड़ते उन्होंने वर्ष 2015 में ब्रम्हा सिंह तंवर को भी हराया था। 2020 में लगातार दूसरी बार करतार सिंह छतरपुर विधानसभा से चुनकर आए थे। वहीं करतार सिंह की भाजपा में वापसी के बाद छतरपुर में भाजपा की जितने की उम्मीदें बढ़ गई है।
दरसल इसी साल विधायक करतार सिंह तंवर ने अन्य विधायक राजकुमार आनंद के साथ पार्टी बदलकर भाजपा में शामिल हुए थे। जिसके बाद विधानसभा अध्यक्ष रामविलास गोयल ने दलबदल विरोधी कानून के तहत उनकी सदस्यता रद्द की है। मंगलवार (24 सितंबर) को विधानसभा सचिवालय की ओर से जारी अधिसूचना में करतार सिंह तंवर की सदस्यता समाप्त करने की घोषणा की गई। जबकी विधानसभा अध्यक्ष राजकुमार आनंद को विधायकी के लिए अध्यक्ष की ओर से अयोग्य घोषित हुए है।
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बता दें की, करतार सिंह आम आदमी पार्टी के सदस्यत्व और विधायकी से पहले भाजपा सदस्य थे। वर्ष 2007 दिल्ली नगर निगम के भाटी वाडी वार्ड से पार्षद बनकर करतार सिंह ने अपने राजनीतिक करियर की शुरुवात की थी। करतार सिंह इससे पहले दिल्ली जल बोर्ड में जूनियर इंजिनीअर थे। 2014 में करतार सिंह ने आम आदमी पार्टी की सदस्यता ली थी। इस बार भाजपा में शामिल होने के बाद कहा है की आम आदमी पार्टी के सत्ता में आने के बाद से दिल्ली में विकास कार्य ठप्प पड चुके है।