प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 11 को करेंगे मुंबई नागपुर एक्सप्रेस वे का उद्घाटन

नागपुर से शिर्डी तक के 500 किलोमीटर मार्ग

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 11 को करेंगे मुंबई नागपुर एक्सप्रेस वे का उद्घाटन

राजधानी मुंबई से उप राजधानी नागपुर को जोड़ने वाले समृद्धि महामार्ग का उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आगामी 11 दिसंबर को करेंगे। उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शनिवार को यह जानकारी दी है। फडणवीस ने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी, समृद्धि महामार्ग के नागपुर से शिर्डी तक के पूरे हो चुके हिस्से का लोकार्पण करेंगे। महामार्ग का शेष हिस्सा अगले छह महीने में बनकर तैयार हो जाएगा।

उपमुख्यमंत्री ने कहा कि यह हमारे लिए खुशी और गर्व की बात है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नागपुर-मुंबई समृद्धि एक्सप्रेस-वे का उद्घाटन करेंगे। वे नागपुर से शिर्डी तक के 500 किलोमीटर मार्ग का उद्घाटन करेंगे। महामार्ग के इस हिस्से का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है। बाकी चरणों का कार्य अगले 6 महीने में पूरा हो जाएगा। हिंदू हृदय सम्राट बाला साहेब ठाकरे महाराष्ट्र समृद्धि महामार्ग से राज्य के 14 जिलों को जोड़ा जाएगा।

उन्होंने कहा कि एक्सप्रेस-वे मार्ग पर एक नया आर्थिक गलियारा बनेगा और इस एक्सप्रेस-वे के माध्यम से 14 जिलों को एकीकृत कर  बंदरगाह से जोड़ा जाएगा। फडणवीस ने कहा कि मुझे लगता है कि यह एक्सप्रेस-वे विदर्भ, मराठवाड़ा और पूरे महाराष्ट्र में समृद्धि लाएगा।  बता दें कि 49,250 करोड़ रुपए की लागत से बना 701 किलोमीटर लंबा एक्सप्रेस वे 11 जिलों में फैले 392 गांवों से होकर गुजरता है।

समृद्धि महामार्ग से राजधानी मुंबई को उपराजधानी नागपुर के बीच आवागमन सुगम होगा। समृद्धि महामार्ग के बन जाने पर मुंबई से नागपुर की दूरी 8 घंटे में तय की जा सकेगी। फिलहाल, यह दूरी तय करने में करीब 15 घंटे लगते हैं। नागपुर और मुंबई के बीच सुगम यात्रा के उद्देश्य से 31 जुलाई 2015 को तत्कालीन मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने 701 किलोमीटर लंबे समृद्धि महामार्ग बनाने की घोषणा विधानसभा में की थी।

नागपुर-शिर्डी समृद्धि महामार्ग के 521 किमी लंबे रूट पर 5 घंटे के सफर के लिए 900 टोल वसूला जाएगा। इस मार्ग पर टोल प्रणाली चालू हो गई है। नागपुर- शिर्डी महामार्ग में 19 टोल बूथ समृद्धि महामार्ग के 19 निकास बिंदुओं पर स्थित हैं। टोल की दर 1.73 रुपए प्रति किमी तय की गई है।

इस महामार्ग को 150 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से चलने वाले वाहनों के लिए डिज़ाइन किया गया है, इसलिए राज्य सरकार ने अधिसूचना के माध्यम से सात यात्री सीटों वाले वाहनों के लिए समतल इलाकों में 120 किमी प्रति घंटे और पहाड़ी इलाकों में 100 किमी प्रति घंटे की अधिकतम स्पीड लिमिट तय की है। वहीं, मालवाहक वाहनों की रफ्तार 80 किमी प्रति घंटा तय की गई है। इस परियोजना के आसपास औद्योगिक गलियारा बनाया जाएगा, जिससे अंतर्राष्ट्रीय निवेश होगा और ग्रामीण इलाकों में खुशहाली आएगी।

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