मुंबई। महाराष्ट्र में कोरोना महामारी से बंद मंदिर-मस्जिद अब नवरात्रि के पहले दिन से दोबारा खुल जाएंगे। यानी राज्य में बंद सभी धार्मिक स्थलों को 7 अक्टूबर से खोल दिया जाएगा। इसके अलावा राज्य के स्कूलों को भी खोलने की भी अनुमति दी गई है। यह जानकारी महाराष्ट्र मुख्यमंत्री कार्यालय ने दी। मालूम हो कि बीजेपी धार्मिक स्थलों को खोलने के लिए लम्बे समय से आंदोलन कर रही है। इस आंदोलन को अन्ना हजारे का भी समर्थन मिला हुआ है।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने राज्य के अधिकांश दिन में चलने वाले स्कूल को 4 अक्टूबर से प्रतिबंधों के साथ फिर से खोलने की अनुमति शुक्रवार को दे दी। ग्रामीण क्षेत्र में 5-12वीं कक्षा, कस्बा और शहरी क्षेत्रों में 8-12वीं कक्षा के लिए स्कूल खोलने की अनुमति दी गई है। कोरोना महामारी के कारण पिछले डेढ़ साल से स्कूल बंद थे। हालांकि ऑनलाइन पढ़ाई चल रही थी।स्कूल शिक्षा मंत्री वर्षा गायकवाड़ ने कहा कि कोविड-19 के सभी नियमों का कड़ाई से पालन करते हुए स्कूलों को फिर से खोलने की अनुमति दी गयी है। उन्होंने कहा कि श्री ठाकरे और कोविड-19 टास्क फोर्स से चर्चा करने के बाद यह फैसला लिया गया है।
उन्होंने कहा कि स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति अनिवार्य नहीं होगी। बच्चों को स्कूल जाने की अनुमति देने के लिए माता-पिता की सहमति अनिवार्य होगी। संख्या के आधार पर, स्कूल सीमित कक्षाओं या वैकल्पिक दिन की कक्षाओं का विकल्प चुन सकते हैं। बता दें कि राज्यों में स्कुल कॉलेज खोल दिए गए हैं। अगर बात मंदिर की करें तो यही झाल सभी राज्यों का जहां धीरे-धीरे कोरोना प्रोटोकॉल के साथ दोबारा खोला जा रहा है। महाराष्ट्र में बीजेपी धार्मिक स्थलों को खोलने की मांग कर रही है साथ आंदोलन भी कर रही है। बीजेपी का कहना है कि जब बार और शराब की दुकानें खोल दी गई हैं तो धार्मिक स्थल क्यों हो खोले जा रहे हैं।